शॉर्ट वीडियो शेयरिंग ऐप टिक टॉक (TikTok) समेत कई चाइनीज ऐप्स पर सुरक्षा का हवाला देते हुए पिछले साल भारत में प्रतिबंध लगा दिया गया. सरकार के बैन के बाद गूगल ने टिकटॉक समेत सभी बैन किए गए ऐप्स को प्ले स्टोर से हटा दिया है. ये ऐप्स ऐपल स्टोर पर भी उपलब्ध नहीं है. हालांकि अभी भी इस ऐप को भारत में काफी लोग एक्सेस कर पा रहे हैं.

वेब एनालिटिक्स सर्विस प्रदान करने वाली ऑनलाइन पोर्टल सिमिलर वेब (Similar Web) की तरफ से शेयर किए गए डेटा में इसके सबूत मिले हैं. रिपोर्ट में वेब पोर्टल ने बताया कि टिक टॉक पर बैन के बावजूद दिसंबर 2020 में भारत में सोशल नेटवर्किंग प्लेटफॉर्म इंस्टाग्राम की तुलना में टिक टॉक पर ज्यादा यूजर्स एक्टिव थे. इसमें चौंकाने वाली बात ये है कि बैन के बावजूद भी अगस्त और अक्टूबर के बीच एक बार फिर से ऐप के मासिक एक्टिव यूर्जर्स में बढ़ोतरी आई है. सवाल उठता है कि बैन के बाद भी ऐप को आखिर कैसे एक्सेस किया जा रहा है?

टेक और मीडिया में शुरुआती दौर के सौदों पर केंद्रित बुटीक निवेश बैंक के एमडी उत्कर्ष सिन्हा ने कहा कि तत्काल बैन ऐप के नए इंस्टॉल के लिए था. इसका मतलब ये कि नए यूजर्स टिक टॉक को डाउनलोड नहीं कर सकते. साथ ही अगर किसी ने ऐप को डिलीट कर दिया, तो वो भी उसे फिर से इंस्टॉल नहीं कर पाएंगे. उन्होंने कहा कि हालांकि, जिनके पास ऐप है, वे अभी भी इस प्लेटफॉर्म का इस्तेमाल कर सकते हैं.

डिजिटल ऑडियो प्लेटफॉर्म खबरी के सह-संस्थापक और सीईओ पुलकित शर्मा कहते हैं कि टिक टॉक पर अपनी प्रतिभा का प्रदर्शन करने वाले लोग ऐप डाउनलोड करने के दूसरे तरीके खोज रहे हैं. .apk फाइल फॉर्मेट में दूसरी वेबसाइट से टिक टॉक को अभी भी डाउनलोड किया जा सकता है.