गुप्त नवरात्रि माघ मास शुक्ल पक्ष से प्रारंभ हो रहे हैं (12 फरवरी 2021 शुक्रवार से 21 फरवरी 2021 रविवार तक)
गुप्त नवरात्र के दौरान कई साधक महाविद्या के लिए मां काली, तारा देवी, त्रिपुर सुंदरी, भुवनेश्वरी, माता छिन्नमस्ता, त्रिपुर भैरवी, मां ध्रूमावती, माता बगलामुखी, मातंगी और कमला देवी की पूजा करते हैं।*
शास्त्र ने बताया कि गुप्त नवरात्रि पर्व में माँ दुर्गा जी के दस महाविद्या के सरूप में आराधना की जाती है, समस्त मनोकामनाएं पूर्ण करने के लिए माँ की गुप्त रूप से साधना होती है, बर्ष में 2 गुप्त नवरात्रि आती है जिनमे साधक तंत्रिक पूजन से भी माँ भगवती की आराधना करके प्रशन्न करते है...!
कुछ वैदिक अनुष्ठान से यह कार्य भी लाभदायक रहते हैं जैसे.........
*पति प्राप्ति के लिये मन्त्र-*
कात्यायनी महामाये महायोगिन्यधीश्वरि !
नंदगोपसुतम् देवि पतिम् मे कुरुते नम:!!
यह मंत्र दुर्गा सप्तशती का संपुटित पाठ किसी योग्य ब्राहमण से करवाऐ माता से प्रार्थना करें हे माँ मै आपकी शरण में आ गयी मुझे शीघ्र अति शीघ्र सौभाग्य की प्राप्ति हो और मेरी मनोकामना शीघ्र पुरी हो माँ भगवती कि कृपा से अवश्य सफलता प्राप्त होगी।
*पत्नी प्राप्ति के मंत्र*
पत्नीं मनोरमां देहि मनोवृत्तानु सारिणीम्।
तारिणींदुर्गसंसारसागरस्य कुलोद्भवाम.!!
माँ दुर्गा सप्तशती का संपुटित पाठ किसी योग्य ब्राह्मण से करवाऐ आपकी मनोकामना शीघ्र पूरी होगी.!!
*शत्रु पर विजय ओर शांति प्राप्ति के लिए*
सर्वाबाधा प्रशमनं त्रैलोक्यस्याखिलेश्वरि।
एवमेव त्वया कार्यमस्मद्दैरिविनाशनम्.!!
*बाधा मुक्ति एवं धन-पुत्रादि प्राप्ति के लिएः*
सर्वाबाधा विनिर्मुक्तो धन-धान्य सुतान्वितः।
मनुष्यों मत्प्रसादेन भवष्यति न संशय..