नई दिल्ली. दिल्ली के उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया पर सीबीआई की कार्रवाई से पीडीपी नेता और जम्मू कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती नाराज हैं. उन्होंने शनिवार को यह मामला उठाते हुए विपक्ष से एकजुट रहने की बात की है. उन्होंने कहा है कि सिसोदिया के आवास पर सीबीआई की छापेमारी विपक्षी एकजुटता में कमी को दर्शाती है. इसके साथ ही महबूबा मुफ्ती ने कांग्रेस पर बीजेपी के प्रोपेगेंडा में उसका साथ देने का भी आरोप लगाया है.
महबूबा मुफ्ती ने शनिवार को कहा, ‘यह दुखद है कि कांग्रेस अपनी पार्टी की विचारधारा से ऊपर नहीं उठ पा रही है. क्योंकि आप उसकी प्रतिद्वंद्वी है. यहां तक कि खुद प्रवर्तन निदेशालय की कार्रवाई झेल रही कांग्रेस बीजेपी के प्रोपेगेंडा समर्थन कर रही है. इस समय जब जांच एजेंसियों को हथियार बनाया जा रहा है तो ऐसे समय में विपक्ष को एकजुट रहने की जरूरत है.’
इससे पहले शनिवार को दिल्ली कांग्रेस ने प्रदर्शन करके मनीष सिसोदिया का इस्तीफा मांगा था. उसने ये मांग दिल्ली की आबकारी नीति में भ्रष्टाचार के आरोप में फंसे दिल्ली के उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया के आवास पार सीबीआई की छापेमारी को लेकर की है. कांग्रेस ने इस दौरान दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और मनीष सिसोदिया के खिलाफ नारेबाजी भी की. बता दें कि आम आदमी पार्टी कांग्रेस की प्रतिद्वंद्वी है. आप ने दिल्ली में कांग्रेस से सत्ता हथियाने के बाद पंजाब चुनाव में भी उससे सत्ता छीनी है. आप की ओर से कई राज्यों में राजनीति में आगे बढ़ना भी कांग्रेस के लिए चुनौती है.
शुक्रवार को कांग्रेस ने संदीप दीक्षित और अल्का लांबा ने भी भ्रष्टाचार के मामल में फंसे मनीष सिसोदिया को लेकर आप सरकार पर निशाना साधा था. संदीप दीक्षित ने कहा था कि आप सरकार की गतिविधियों को लेकर सीबीआई को और छापेमारी करनी चाहिए. कांग्रेस नेता मणिकम टैगौर ने पलटवार करते हुए कहा कि दिल्ली के मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया और उनका गिरोह वास्तविक भ्रष्ट कृत्य में संलिप्त पाया गया है तथा वे न्याय के दायरे में लाये जाने के हकदार हैं.
तमिलनाडु के विरूद्धनगर से लोकसभा सदस्य टैगोर ने कहा कि कांग्रेस को आप नेताओं का समर्थन क्यों करना चाहिए जबकि उन्होंने सभी ईमानदार राजनीतिक नेतृत्व पर कीचड़ उछाला है. उन्होंने कहा, मनीष सिसोदिया और उनके गिरोह वास्तविक भ्रष्ट कृत्य में पकड़े गए हैं. दिल्ली को राजस्व का नुकसान हुआ लेकिन गिरोह को फायदा हुआ. उनको बच कर क्यों निकलने दिया जाए? कानून को अपना काम करने दीजिए.
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