नई दिल्ली. खेल मंत्रालय ने रविवार को भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) को निलंबित कर दिया है. इस मामले पर डबलूएफआई के नए अध्यक्ष पर संजय सिंह की प्रतिक्रिया सामने आई है. उन्होंने कहा, मैं फ्लाइट में था. मुझे अभी तक कोई पत्र नहीं मिला है. पहले मुझे पत्र देखने दीजिए, उसके बाद ही मैं कोई टिप्पणी करूंगा.
खेल मंत्रालय ने रविवार को डब्ल्यूएफआई को अगले आदेश तक निलंबित कर दिया क्योंकि नवनिर्वाचित संस्था ने पहलवानों को तैयारी के लिए पर्याप्त समय दिए बिना अंडर-15 और अंडर-20 राष्ट्रीय चैंपियनशिप के आयोजन की जल्दबाजी में घोषणा की थी. डब्ल्यूएफआई के चुनाव 21 दिसंबर को हुए थे जिसमें पूर्व अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह के विश्वासपात्र संजय सिंह और उनके पैनल ने बड़े अंतर से जीत दर्ज की थी.
खेल मंत्रालय के एक अधिकारी ने बताया, नए निकाय ने डब्ल्यूएफआई संविधान का पालन नहीं किया. हमने महासंघ को बर्खास्त नहीं किया है, बल्कि अगले आदेश तक निलंबित किया है. उन्हें बस उचित प्रक्रिया और नियमों का पालन करने की जरूरत है.
सूत्र ने निलंबन के कारणों के बारे में बताते हुए कहा, डब्ल्यूएफआई के नवनिर्वाचित अध्यक्ष संजय कुमार सिंह ने 21 दिसंबर 2023 को अध्यक्ष चुने जाने के दिन ही घोषणा की कि कुश्ती के लिए अंडर-15 और अंडर-20 राष्ट्रीय चैंपियनशिप साल खत्म होने से पहले ही उत्तर प्रदेश के गोंडा के नंदिनी नगर में होगी. उन्होंने कहा, यह घोषणा जल्दबाजी में की गई है. उन पहलवानों को पर्याप्त सूचना दिए बिना जिन्हें उक्त राष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में भाग लेना है. डब्ल्यूएफआई के संविधान के प्रावधानों का पालन भी नहीं किया गया.
मंत्रालय के सूत्र ने कहा, डब्ल्यूएफआई के संविधान की प्रस्तावना के नियम 3 (ई) के अनुसार, डब्ल्यूएफआई का उद्देश्य अन्य बातों के अलावा कार्यकारी समिति द्वारा चयनित स्थानों पर यूडब्ल्यूडब्ल्यू (यूनाईटेड वर्ल्ड रेस्लिंग) के नियमों के अनुसार सीनियर, जूनियर और सब जूनियर राष्ट्रीय चैंपियनशिप आयोजित करने की व्यवस्था करना है.
Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-#SakshiMalik ने रोते हुए कुश्ती को कहा अलविदा! बृजभूषण के करीबी भारतीय कुश्ती संघ अध्यक्ष बने?
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