उत्तराखंड का ऋषिकेश दुनियाभर में योग के लिए मशहूर है. इसके अलावा यहां कई खूबसूरत टूरिस्ट स्पॉट भी हैं, जो कि आपका दिल जीत लेंगे. अगर आप भी ऋषिकेश आने का प्लान बना रहे हैं, तो इन खास जगहों को दीदार जरूर करें.
पिंक सैंड बीच या पिंक बीच- ऋषिकेश से 35 किलोमीटर दूर प्राकृतिक सुंदरता से भरपूर मालाकुंटी में स्थित है. इस बीच को सीक्रेट बीच भी कहा जाता है. यह ऋषिकेश के शोरगुल वाले इलाकों से दूर एकदम एकांत में है, जहां आपको ज्यादा लोग नहीं दिखेंगे. आप यहां बैठकर बहते पानी के शोर को आसानी से सुन सकते हैं. इस बीच की खासियत गुलाबी रंग की नजर आने वाली रेत है.
नीम बीच- ऋषिकेश के तपोवन से करीब 2 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है. ये बीच काफी सुंदर और बड़ा है. इसके साथ नीम बीच राफ्टिंग के लिए काफी मशहूर है. यह छुट्टियां बिताने के लिए एक अच्छा टूरिस्ट स्पॉट है. इसी वजह से शनिवार और रविवार को पर्यटकों के साथ स्थानीय लोगों का मेला सा लगा रहता है. प्राकृतिक सुंदरता से घिरे इस बीच से सूर्योदय और सूर्यास्त का नजारा भी काफी सुंदर दिखता है. यह बीच न सिर्फ एक खूबसूरत टूरिस्ट स्पॉट है बल्कि यहां आपको गरमागरम चाय, चटपटी मैगी समेत अन्य कई चीजें खाने को मिल जाएंगी.
गर्मियों के मौसम में बीच किनारे बैठना, लहरों को देखना और पानी में खेलना किसे नहीं पसंद है. हालांकि बीच का नाम सुनते ही हमारे दिमाग में सबसे पहले गोवा का ख्याल आता है, लेकिन ऋषिकेश में भी एक काफी प्रसिद्ध घाट है, जिसे गोवा बीच के नाम से जाना जाता है. दरअसल यह बीच गोवा सा प्रतीत होता है. यह ऋषिकेश के राम झूला के पास स्थित है. रेत किनारे इस तट पर हमेशा ही पर्यटकों की भीड़ रहती है.
ऋषिकेश में गंगा किनारे स्थित ‘आस्था पथ’ को मरीन ड्राइव कहा जाता है. गंगा तट पर कुछ सालों पहले इसका निर्माण किया गया था. इसका मकसद था कि लोगों को गंगा तट पर ऋषिकेश के शोरगुल से दूर एक बेहतरीन वातावरण मिल सके. यह रास्ता ऋषिकेश के त्रिवेणी घाट से बैराज तक बना हुआ है, जिसकी लंबाई करीब तीन किलोमीटर है. यहां सुबह और शाम के समय नियमित रूप से हजारों लोग सैर-सपाटे को पहुंचते हैं.
ऋषिकेश में स्थित बीटल्स आश्रम एक काफी सुंदर जगह है. इन दिनों यहां ऋषिकेश घूमने आने वाले पर्यटकों की भीड़ नजर आ रही है. यह बीटल्स आश्रम पवित्र गंगा नदी के किनारे स्थित है. बीटल्स आश्रम को चौरासी कुटिया के नाम से भी जाना जाता है. इस कुटिया का निर्माण सन् 1961 में महर्षि महेश योगी द्वारा योग और ध्यान की शिक्षा देने के लिए किया गया था. इन्होंने भवतीत ध्यान को विश्व प्रसिद्ध बनाया, तो वैज्ञानिक रुप से योग और ध्यान का महत्व समझाया. इसके बाद 60 के दशक का प्रसिद्ध बीटल्स बैंड यहां ध्यान की खोज में पहुंचा. इसी बीटल्स बैंड के जॉन लेनन, पॉल मैक कार्टनी, जॉर्ज हैरिसन रिंगो स्टार सहित 1968 में ऋषिकेश आकर महर्षि महेश योगी के इस आश्रम में रुके थे. यहीं उन्होंने ध्यान की शिक्षा ली थी.
ऋषिकेश त्रिवेणी घाट तीन नदियों का संगम है. मान्यता है कि त्रिवेणी घाट पर गंगा, यमुना, सरस्वती का संगम है, इसीलिए यह घाट हिंदू पौराणिक कथाओं में सबसे पवित्र माना गया है. इस घाट पर प्रतिदिन तीन समय आरती होती है. एक सुबह प्रातः काल, दूसरी दोपहर के समय और तीसरी संध्याकाल में होती है. संध्याकाल वाली आरती को महाआरती कहा जाता है. यह आरती दुनिया भर में मशहूर है. लोग दूर-दूर से आरती में सम्मिलित होने आते हैं. अगर आप शाम के समय त्रिवेणी घाट जाते हैं, तो वहां का दृश्य काफी मनमोहक प्रतीत होता है.
Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-