लखनऊ। पूर्व सांसद और अभिनेत्री जया प्रदा को कोर्ट ने भगोड़ा घोषित किया है, क्योंकि जया प्रदा दो मामलों में सुनवाई के लिए लगातार गैर हाजिर चल रही थी. इस कारण एक विशेष अदालत ने उन्हें फरार घोषित कर दिया है. ये मामले साल 2019 के लोकसभा चुनावों के दौरान चुनाव आचार संहिता के उल्लंघन से जुड़ा हुआ हैं. जहां वह भाजपा का प्रतिनिधित्व करने वाली उम्मीदवार थीं. सात बार गैर-जमानती वारंट जारी होने के बावजूद जया प्रदा कोर्ट में पेश नहीं हुईं, जिसके बाद एमपी एमएलए विशेष अदालत ने उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई कर दी है.
शोभित बंसल की अध्यक्षता वाली एमपी एमएलए विशेष कोर्ट ने अब पुलिस अधीक्षक को 6 मार्च तक अदालत में उनकी हाजिरी सुनिश्चित करने के लिए एक डिप्टी एसपी के नेतृत्व में विशेष टीम बनाने का भी निर्देश दिया है. यह कानूनी प्रावधान तब लागू किया जाता है जब कोई आरोपी व्यक्ति वारंट के बावजूद कोर्ट में पेश नहीं होता है. इससे उनकी उपस्थिति सुनिश्चित करने के लिए कानूनी प्रक्रिया शुरू होती है.
जया प्रदा हिंदी और तेलुगु फिल्म इंडस्ट्री में काफी लोकप्रिय और प्रभावशाली अभिनेत्रियों में से एक हैं. बाद में उन्होंने फिल्मी जगत को छोड़ दिया और 1994 में तेलुगु देशम पार्टी (टीडीपी) में शामिल हो गईं. वह पहले राज्यसभा सांसद और फिर लोकसभा सांसद बनीं. साल 2019 में वे भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) में शामिल हो गईं.
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