-प्रदीप लक्ष्मीनारायण द्विवेदी, बॉलीवुड एस्ट्रो एडवाइजर (व्हाट्सएप- 8875863494)
* स्कन्द षष्ठी : 4 मार्च 2025, मंगलवार
* शुक्ल षष्ठी प्रारम्भ - 15:16, 4 मार्च 2025
* शुक्ल षष्ठी समाप्त - 12:51, 5 मार्च 2025
दक्षिण भारत में स्कन्द सुप्रसिद्ध देवता हैं, जिनकी पूजा से संपन्नता प्राप्त होती है.
स्कन्द देव, भगवान भोलेनाथ और देवी पार्वती के पुत्र और भगवान श्रीगणेश के भाई हैं.
दक्षिण भारत में भगवान स्कन्द को मुरुगन, कार्तिकेय, सुब्रह्मण्य आदि स्वरूपों में जाना जाता है.
षष्ठी तिथि भगवान स्कन्द को समर्पित है.
सूरसम्हाराम के बाद आने वाली अगली स्कन्द षष्ठी को सुब्रहमन्य षष्ठी पुकारते हैं.
दक्षिण भारत में पलनी मुरुगन मन्दिर, स्वामीमलई मुरुगन मन्दिर, तिरुत्तनी मुरुगन मन्दिर, पज्हमुदिचोर्लाई मुरुगन मन्दिर, श्री सुब्रह्मण्य स्वामी देवस्थानम, तिरुप्परनकुंद्रम मुरुगन मन्दिर, मरुदमलै मुरुगन मन्दिर आदि प्रमुख एवं प्राचीन कार्तिकेय के मंदिर हैं.
भगवान कार्तिकेय की पूजा स्कन्द षष्ठी के दिन की जाती है.
कार्तिकेय के पूजन से रोग-दोष, दुःख-दारिद्र का निवारण होता है.
धर्मग्रंथों के अनुसार नारद-नारायण संवाद के दौरान संतान प्राप्ति और संतान की पीड़ाओं का शमन करने के लिए इस व्रत का विधान बताया गया है.
धर्मग्रंथों के अनुसार भगवान शिव के तेज से उत्पन्न बालक स्कन्द की छह कृतिकाओं ने स्तनपान करा कर रक्षा की थी. इनके छह मुख हैं और उन्हें कार्तिकेय नाम से पुकारा जाने लगा.
भोलेनाथ और माता पार्वती के पुत्र कार्तिकेय की पूजा मुख्यत: दक्षिण भारत, खासतौर पर तमिलनाडु में होती है.
भगवान कार्तिकेय के प्रमुख मंदिर तमिलनाडु में ही हैं.
धर्मधारणा है कि... स्कंद षष्ठी की उपासना से च्यवन ऋषि को आंखों की ज्योति प्राप्त हुई... स्कंद षष्ठी के पाठ से प्रियव्रत का मृत शिशु जीवित हो गया.
धर्मग्रंथों में उल्लेख है कि... स्कन्द की उत्पत्ति अमावस्या को अग्नि से हुई थी, वे चैत्र शुक्ल पक्ष की षष्ठी को प्रत्यक्ष हुए थे, देवों के द्वारा सेनानायक बनाये गये थे तथा तारकासुर का वध किया था, अत: उनकी पूजा, दीपों, वस्त्रों, अलंकरणों, आदि से की जाती है, साथ ही, स्कंद षष्ठी पर भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा की जाती है.
कार्तिकेय की स्थापना कर अखंड दीपक जलाए जाते हैं, विशेष कार्य की सिद्धि के लिए इस समय की गई पूजा-अर्चना विशेष फलदायी होती है!
स्कन्द षष्ठी 2025....
* 3 अप्रैल 2025, बृहस्पतिवार
* 2 मई 2025, शुक्रवार
* 1 जून 2025, रविवार
* 30 जून 2025, सोमवार
* 30 जुलाई 2025, बुधवार
* 28 अगस्त 2025, बृहस्पतिवार
* 27 सितम्बर 2025, शनिवार
* 27 अक्टूबर 2025, सोमवार
* 26 नवम्बर 2025, बुधवार
* 25 दिसम्बर 2025, बृहस्पतिवार
श्री त्रिपुरा सुंदरी धर्म-कर्म पंचांग : 4 मार्च 2025
शक सम्वत 1946, विक्रम सम्वत 2081, अमान्त महीना फाल्गुन, पूर्णिमान्त महीना फाल्गुन, वार मंगलवार, शुक्ल पक्ष, तिथि पञ्चमी - 15:16 तक, नक्षत्र भरणी - 02:37, (5 मार्च 2025) तक, योग इन्द्र - 02:07, (5 मार्च 2025) तक, करण बालव - 15:16 तक, द्वितीय करण, कौलव - 02:01, (5 मार्च 2025) तक, सूर्य राशि कुम्भ, चन्द्र राशि मेष, राहुकाल 15:40 से 17:08, अभिजित मुहूर्त 12:21 से 13:08
मंगलवार चौघड़िया- 4 मार्च 2025
दिन का चौघड़िया
रोग - 06:51 से 08:20
उद्वेग - 08:20 से 09:48
चर - 09:48 से 11:16
लाभ - 11:16 से 12:44
अमृत - 12:44 से 14:12
काल - 14:12 से 15:40
शुभ - 15:40 से 17:08
रोग - 17:08 से 18:37
रात्रि का चौघड़िया
काल - 18:37 से 20:08
लाभ - 20:08 से 21:40
उद्वेग - 21:40 से 23:12
शुभ - 23:12 से 00:44
अमृत - 00:44 से 02:15
चर - 02:15 से 03:47
रोग - 03:47 से 05:19
काल - 05:19 से 06:51
* चौघडिय़ा का उपयोग कोई नया कार्य शुरू करने के लिए शुभ समय देखने के लिए किया जाता है.
* दिन का चौघडिय़ा- अपने शहर में सूर्योदय से सूर्यास्त के बीच के समय को बराबर आठ भागों में बांट लें और हर भाग का चौघडिय़ा देखें.
* रात का चौघडिय़ा- अपने शहर में सूर्यास्त से अगले दिन सूर्योदय के बीच के समय को बराबर आठ भागों में बांट लें और हर भाग का चौघडिय़ा देखें.
* अमृत, शुभ, लाभ और चर, इन चार चौघडिय़ाओं को अच्छा माना जाता है और शेष तीन चौघडिय़ाओं- रोग, काल और उद्वेग, को उपयुक्त नहीं माना जाता है.
* यहां दी जा रही जानकारियां संदर्भ हेतु हैं, स्थानीय समय, परंपराओं और धर्मगुरु-ज्योतिर्विद् के निर्देशानुसार इनका उपयोग कर सकते हैं, क्योंकि यहां दिया जा रहा समय अलग-अलग शहरों में स्थानीय समय के सापेक्ष थोड़ा अलग हो सकता है.
* अपने ज्ञान के प्रदर्शन एवं दूसरे के ज्ञान की परीक्षा में समय व्यर्थ न गंवाएं क्योंकि ज्ञान अनंत है और जीवन का अंत है!
आज का राशिफल -
मेष राशि:- मित्रों व संबंधियों की सहायता कर पाएंगे .कार्यस्थल पर सुधार व परिवर्तन हो सकता है. योजना फलीभूत होगी किंतु तत्काल लाभ नहीं मिलेगा. घर-बाहर पूछ-परख रहेगी. ईष्यालु व्यक्तियों से बचें. शेयर मार्केट व म्यूचुअल फंड से लाभ होगा. लाभ के अवसर हाथ आएंगे.
वृष राशि:- यात्रा लाभदायक रहेगी. डूबी हुई रकम प्राप्त हो सकती है. धन प्राप्ति सुगम होगी. नौकरी में प्रभाव बढ़ेगा. व्यापार-व्यवसाय लाभदायक रहेंगे. आशंका-कुशंका रहेगी. घर-परिवार में सुख-शांति बनी रहेगी. थकान व कमजोरी रह सकती है. जल्दबाजी में कोई निर्णय न लें. लंबे प्रवास की योजना बन सकती है.
मिथुन राशि:- भूले-बिसरे साथियों से मुलाकात होगी. उत्साहवर्धक सूचना प्राप्त होगी. आत्मसम्मान बना रहेगा. कोई बड़ा कार्य व लंबे प्रवास का मन बनेगा. क्रोध व उत्तेजना पर नियंत्रण रखें. विवेक का प्रयोग लाभ में वृद्धि करेगा .व्यापार - व्यवसाय से आय बढ़ेगी. जल्दबाजी न करें.
कर्क राशि:- यात्रा लाभप्रद रहेगी. रोजगार प्राप्ति के प्रयास सफल रहेंगे. भेंट व उपहार की प्राप्ति होगी. व्यापार-व्यवसाय लाभप्रद रहेगा. निवेश शुभ रहेगा. पार्टनरों से सहयोग प्राप्त होगा. घर-बाहर प्रसन्नता का वातावरण रहेगा. भाग्य का साथ मिलेगा. झंझटों से दूर रहें.
सिंह राशि:- मेहनत का फल पूरा-पूरा मिलेगा. कार्यसिद्धि से प्रसन्नता रहेगी. पार्टनरों का सहयोग प्राप्त होगा. मित्रों व संबंधियों की सहायता कर पाएंगे. मान-सम्मान मिलेगा. कारोबार से लाभ वृद्धि होगी. नौकरी में अधिकारी वर्ग प्रसन्न रहेगा. पति-पत्नी के संबंधों में मधुरता बढ़ेगी. धनागम होगा.
कन्या राशि:- व्यवसाय लाभदायक रहेगा. आय में निश्चितता रहेगी. विवाद न करें. आर्थिक परेशानी आ सकती है. फालतू खर्च होगा. समय पर व्यवस्था नहीं होगी. आशा-निराशा के भाव रहेंगे. विचारों में स्पष्टता नहीं होने से समस्या बढ़ सकती है. जल्दबाजी में कोई निर्णय न लें.
तुला राशि:- नए संबंध बनाने के पहले विचार कर लें. नौकरी में समस्याएं आ सकती हैं. कार्यभार रहेगा. वाणी पर नियंत्रण रखें. स्वास्थ्य का पाया कमजोर रहेगा. लेन-देन में सावधानी आवश्यक है. कारोबार में लाभ होगा. आय बनी रहेगी. कोई भी महत्वपूर्ण निर्णय लेने में जल्दबाजी न करें.
वृश्चिक राशि:- पति-पत्नी में संबंध मधुर होंगे. राजकीय सहयोग प्राप्त होगा. धन प्राप्ति सुगम होगी. रुके कार्यों में गति आएगी. छोटे भाइयों व मित्रों का सहयोग प्राप्त होगा. किसी के झगड़ों में न पड़ें. विवाद से क्लेश संभव है. व्यापारियों को खुशखबर मिल सकती है. निवेश लाभप्रद रहेगा.
धनु राशि:- स्वास्थ्य का पाया कमजोर रहेगा. जोखिम व जमानत के कार्य टालें. चोट व दुर्घटना से हानि संभव है. यात्रा यथासंभव टालें. दूसरों के काम में हस्तक्षेप न करें. शत्रु सक्रिय रहेंगे. किसी छोटी सी बात पर विवाद हो सकता है. व्यापार, नौकरी व निवेश आदि मनोनुकूल रहेंगे. लाभ होगा.
मकर राशि:- विद्यार्थी वर्ग सफलता हासिल करेगा. शैक्षणिक व शोध कार्य मनोनुकूल रहेंगे. पार्टी व पिकनिक का आनंद प्राप्त हो सकता है. किसी प्रबुद्ध व्यक्ति का मार्गदर्शन प्राप्त होगा. जल्दबाजी में कोई कार्य न करें. थकान रह सकती है. व्यापार लाभदायक रहेगा. नौकरी में कोई नया कार्य कर पाएंगे. निवेश शुभ रहेगा.
कुम्भ राशि:- किसी तीर्थस्थान के दर्शन हो सकते हैं. अध्यात्म में रुचि रहेगी. कानूनी अड़चन दूर होकर स्थिति अनुकूल बनेगी. कारोबारियों को लाभ के अवसर बढ़ेंगे. कीमती वस्तुएं संभालकर रखें. मेहनत अधिक होने से स्वास्थ्य कमजोर हो सकता है. किसी साधु-संत का आशीष मिल सकता है.
मीन राशि:- भूमि व भवन संबंधी बाधा दूर होकर स्थिति अनुकूल होगी. स्थायी संपत्ति के बड़े सौदे हो सकते हैं. प्रसन्नता व संतुष्टि रहेंगे. परीक्षा व साक्षात्कार आदि में सफलता प्राप्त होगी. नौकरी में उच्चाधिकारी प्रसन्न रहेंगे. जोखिम उठाने व जल्दबाजी करने से बचें. धनार्जन होगा.
* आचार्य पं. श्रीकान्त पटैरिया (ज्योतिष विशेषज्ञ) वाट्सएप नम्बर 7879372913
* यहां राशिफल चन्द्र के गोचर पर आधारित है, व्यक्तिगत जन्म के ग्रह और अन्य ग्रहों के गोचर के कारण शुभाशुभ परिणामों में कमी-वृद्धि संभव है, इसलिए अच्छे समय का सद्उपयोग करें और खराब समय में सतर्क रहें./