अनिल मिश्र/रांची
झारखंड प्रदेश के हजारीबाग जिला मुख्यालय स्थित सदर अस्पताल में मानवता को शर्मसार करने वाली एक घटना प्रकाश में सामने आई है. जहां प्रसव पीड़ा से तड़पती एक महिला को घंटों तक ऑपरेशन थिएटर के बाहर इंतजार करना पड़ा, प्रसव पीड़ा से तड़पती इस महिला के परिजन ऑपरेशन थियेटर का दरवाजा पिटते रहे लेकिन ऑपरेशन थियेटर में बैठे डाॅक्टर या कोई कर्मचारी दरवाजा नहीं खोला . इस दौरान महिला और उसके परिजनों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा.
प्राप्त जानकारी के अनुसार कल गुरुवार और बुधवार को मिली देर रात एक गर्भवती महिला को गंभीर हालत में सदर अस्पताल लाया गया . जिस पर परिजनों का आरोप है कि डॉक्टर और नर्सों को बुलाने के बावजूद ऑपरेशन थिएटर का दरवाजा नहीं खोला गया और न ही महिला को तत्काल कोई चिकित्सकीय सहायता प्रदान किया गया. इस बीच सदर अस्पताल के बरामदे में महिला लगातार प्रसव पीड़ा से कराहती रही और अस्पताल प्रशासन मूकदर्शक बना हुआ रहा.
इस घटना ने सरकारी अस्पतालों में स्वास्थ्य सेवाओं की लचर व्यवस्था और संवेदनहीनता पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं. परिजनों ने अस्पताल प्रबंधन पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए कड़ी कार्रवाई की मांग की है.हालांकि, इस मामले में अस्पताल प्रशासन की ओर से तत्काल कोई आधिकारिक बयान अभी तक जारी नहीं किया गया है. वहीं स्थानीय लोगों ने जिला प्रशासन और हजारीबाग के उपायुक्त से इस मामले की उच्च स्तरीय जांच कर दोषियों के खिलाफ सख्त कदम उठाने की अपील की है.
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