बॉलीवुड में “आउटसाइडर्स” और “इनसाइडर्स” की बहस पिछले एक दशक से लगातार चर्चा में है. कृति सैनन, जिन्होंने अपने करियर की शुरुआत मॉडलिंग और फिर फिल्मों से की, ने हाल ही में इस बहस को नया आयाम देते हुए कहा—“यहाँ कोई मुफ्त की चीज़ नहीं मिलती.” उन्होंने साफ शब्दों में बताया कि एक बाहरी कलाकार के लिए सफलता का रास्ता बेहद कठिन है, लेकिन संघर्ष और लगन ही उन्हें आगे बढ़ाते हैं. यह बयान केवल एक व्यक्तिगत अनुभव नहीं है, बल्कि पूरी फिल्म इंडस्ट्री के ढांचे और अवसरों के वितरण पर सवाल उठाता है.कृति सैनन का बयान सिर्फ उनका व्यक्तिगत अनुभव नहीं, बल्कि बॉलीवुड की सच्चाई को उजागर करता है. यह इंडस्ट्री एक ऐसी जगह है जहाँ ग्लैमर की चमक के पीछे संघर्ष, असुरक्षा और लगातार खुद को साबित करने की दौड़ छिपी है.
कृति का यह संदेश आने वाली पीढ़ी के कलाकारों के लिए प्रेरणा है—“यदि आपके पास लगन, मेहनत और टैलेंट है, तो आप चाहे किसी भी पृष्ठभूमि से आए हों, सफलता ज़रूर मिलेगी.”
कृति का बयान: संघर्ष की सच्चाई
कृति सैनन का कहना है कि उन्हें शुरू से ही इंडस्ट्री में “अपने नाम और अपनी पहचान” बनाने के लिए संघर्ष करना पड़ा. दिल्ली से इंजीनियरिंग की पढ़ाई पूरी करने के बाद उन्होंने मॉडलिंग शुरू की, और फिर धीरे-धीरे फिल्मों में कदम रखा.
उनके मुताबिक, “बॉलीवुड एक खूबसूरत लेकिन कठिन जंगल की तरह है. यहाँ हर कोई अपनी पहचान बनाने के लिए लड़ रहा है. जब तक आप साबित नहीं करते कि आपमें टैलेंट और मेहनत है, कोई भी आपको आगे नहीं बढ़ाता.”
प्रतिक्रियाएँ: जनता और इंडस्ट्री की आवाज़
फैंस की प्रतिक्रिया
सोशल मीडिया पर कृति के बयान को व्यापक समर्थन मिला. ट्विटर (अब X) पर हैशटैग #KritiOnStruggles ट्रेंड करने लगा. कई यूज़र्स ने लिखा कि कृति की ईमानदारी और स्पष्टता से यह समझ आता है कि ग्लैमर की दुनिया जितनी चमकदार दिखती है, उतनी ही कठोर भी है.
एक यूज़र ने लिखा: “कृति जैसी टैलेंटेड एक्ट्रेस अगर संघर्ष की बात कर रही हैं, तो नए कलाकारों की हालत का अंदाज़ा लगाया जा सकता है.”
दूसरे ने कहा: “कृति उन चुनिंदा अभिनेत्रियों में से हैं जो टैलेंट और लगन से यहाँ तक पहुँची हैं. उनका संघर्ष प्रेरणादायक है.”
फिल्म इंडस्ट्री की प्रतिक्रिया
इंडस्ट्री के कुछ फिल्ममेकर और एक्टर्स ने भी कृति के बयान का समर्थन किया. कई लोगों ने कहा कि टैलेंट और मेहनत ही लंबे समय तक टिकने का सबसे बड़ा हथियार है.
एक प्रोड्यूसर ने अनौपचारिक बातचीत में कहा: “कृति उन अभिनेत्रियों में से हैं जिन्होंने शुरुआत से ही अपने दम पर मुकाम बनाया. उनका बयान हकीकत को दर्शाता है.”
इंडस्ट्री का दृष्टिकोण: नेपोटिज़्म बनाम टैलेंट
बॉलीवुड में “नेपोटिज़्म” यानी पारिवारिक पृष्ठभूमि से आने वाले कलाकारों को मिलने वाले विशेषाधिकार हमेशा चर्चा का हिस्सा रहे हैं. कृति सैनन का बयान इस बहस को और प्रासंगिक बनाता है.
इनसाइडर्स (जैसे कि फिल्मी परिवारों से आने वाले स्टार किड्स) को अक्सर शुरुआती मौके आसानी से मिल जाते हैं.
आउटसाइडर्स (जैसे कृति, सुशांत सिंह राजपूत, आयुष्मान खुराना आदि) को बार-बार साबित करना पड़ता है कि वे बॉक्स ऑफिस और दर्शकों के लिए कितने महत्वपूर्ण हैं.
फिल्म ट्रेड एनालिस्ट का कहना है: “कृति का करियर इस बात का उदाहरण है कि यदि टैलेंट और दृढ़ता है तो आप बिना किसी गॉडफादर के भी स्टार बन सकते हैं.”
सोशल मीडिया विश्लेषण
ट्विटर, इंस्टाग्राम और फेसबुक पर कृति का बयान लगातार वायरल हो रहा है.
ट्विटर पर 1.2 लाख से अधिक ट्वीट्स कृति के सपोर्ट में किए गए.
इंस्टाग्राम पर उनकी पोस्ट पर 5 लाख से ज्यादा लाइक्स आए और फैंस ने लंबी-लंबी टिप्पणियाँ लिखीं.
यूट्यूब पर कृति के पुराने इंटरव्यूज़ और उनके बयान से जुड़े वीडियो क्लिप्स को 20 लाख से ज्यादा बार देखा गया.
विशेष बात यह रही कि कई उभरते कलाकारों ने अपने अनुभव साझा करते हुए कहा कि कृति ने उनकी ही आवाज़ को मंच दिया है.
दर्शकों की नज़र में कृति की यात्रा
दर्शकों के लिए कृति सैनन की जर्नी प्रेरणा का स्रोत है. उनकी पहली फिल्म Heropanti से लेकर Mimi और Adipurush तक का सफर उतार-चढ़ाव से भरा रहा.
Heropanti ने उन्हें पहचान दी.
Bareilly Ki Barfi में उनकी एक्टिंग की खूब सराहना हुई.
Mimi ने उन्हें नेशनल अवॉर्ड तक पहुँचाया.
यह सब दिखाता है कि कृति ने लगातार मेहनत और चुनौतियों का सामना कर अपने लिए खास जगह बनाई है.
Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-

