जबलपुर. सेना की ताकत बढ़ाने के लिए जबलपुर की दो ऑर्डनेंस फैक्ट्री ;जबलपुर और खमरियाद्ध में 250 किलोग्राम का बम तैयार किया जा रहा है. केंद्रीय सुरक्षा संस्थान ने 1100 बम का ऑर्डर दिया है. जबलपुर की ग्रे आयरन फैक्ट्री बम का खोल तैयार कर रही है और आयुध निर्माणी खमरिया फैक्ट्री उसमें बारुद भरेगी. दोनों फैक्ट्रियों को मार्च 2026 तक कार्य पूरा करने का लक्ष्य दिया गया है.
फैक्ट्री ने ट्रायल के तौर पर 250 किलो के पांच बम तैयार किए थे. जिनका लॉन्ग फ्रूफ रेंज में परीक्षण सफल रहा है. इसके बाद बम का नियमित उत्पादन शुरू कर दिया गया है. जानकार बताते हैं कि नए बम से सेना की ताकत कई गुना पढ़ जाएगी. इन बमों से सैन्य वाहनए बंकरए एयर क्राफ्ट को भी नष्ट किया जा सकता है. ऑर्डनेंस फैक्ट्री जबलपुर का अगला लक्ष्य 500 किलोग्राम का थाउजेंड पाउंडर बम बनाना है.
इस पर फैक्ट्री प्रबंधन और केंद्रीय सुरक्षा संस्थान ने विचार शुरू कर दिया है. इसके लिए जरूरी दिशा-निर्देश और सामग्री पर काम भी होने लगा है. यह देख का सबसे बड़ा बम होगा. थाउजेंड पाउंडर बन बनाने का काम देश में पहली बार किसी छोटी फैक्ट्री को सौंपा गया है. इससे पहले 120 किलोग्राम सहित अन्य बमों पर काम कर चुकी है. बता दें कि साल 2023 में फैक्ट्री ने बम की बॉडी को आकार दिया था.
हैंडग्रेनेड और सुरंगरोधी बम भी बना रही फैक्ट्री-
आयुध निर्माण जबलपुर अभी तक 100 से 120 किलोग्राम के एरियल बम के खोल तैयार करती रही है. इसके अलावा यहां एम्युनेशन बॉक्स, हैंड ग्रेनेड और सुरंगरोधी बम भी बनाए जाते हैं.
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