चुनाव आयोग का बड़ा फैसला, मध्यप्रदेश-उत्तरप्रदेश सहित 6 राज्यों में बढ़ी SIR की समय-सीमा, जारी हुआ नया शेड्यूल

चुनाव आयोग का बड़ा फैसला, मध्यप्रदेश-उत्तरप्रदेश सहित 6 राज्यों में बढ़ी SIR की समय-सीमा, जारी हुआ नया शेड्यूल

प्रेषित समय :18:31:23 PM / Thu, Dec 11th, 2025
Reporter : पलपल रिपोर्टर

नई दिल्ली. भारत निर्वाचन आयोग (ECI) ने आज कहा कि वह उत्तर प्रदेश, तमिलनाडु व मध्य प्रदेश सहित 6 राज्यों में विशेष गहन पुनरीक्षण (SIR) की तारीखों में संशोधन कर रहा है. चुनाव आयोग के अनुसार तमिलनाडु, गुजरात, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, उत्तर प्रदेश व अंडमान और निकोबार में मतदाता सूची की एसआईआर अनुसूची में संशोधन किया गया है. संबंधित मुख्य निर्वाचन अधिकारियों (CEO) द्वारा प्रस्तुत अनुरोधों के बाद चुनाव निकाय ने SIR के लिए एक संशोधित कार्यक्रम जारी किया.

संशोधित कार्यक्रम के अनुसारए तमिलनाडु व गुजरात को अब अपनी विशेष गहन पुनरीक्षण (SIR) रिपोर्ट 19 दिसंबर 2025  तक जमा करनी होगी, जो पहले 14 दिसंबर 2025 थी. मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़ व अंडमान एवं निकोबार द्वीप समूह के लिए भी समय सीमा बढ़ा दी गई है. नई जमा करने की तिथि 23 दिसंबर 2025 निर्धारित की गई है. जो पहले की 18 दिसंबर 2025 की समय सीमा का स्थान लेगी. उत्तर प्रदेश को अब अपनी SIR रिपोर्ट 31 दिसंबरए 2025 तक जमा करनी होगी.

जो पहले 26 दिसंबर 2025 थी.  भारत निर्वाचन आयोग 12 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में मतदाता सूची के विशेष गहन संशोधन का दूसरा चरण चला रहा है. SIR का पहला चरण बिहार में विधानसभा चुनावों से पहले सितंबर में पूरा हो गया था. यह प्रक्रिया अंडमान और निकोबार द्वीप समूह, छत्तीसगढ़, गोवा, गुजरात, केरल, लक्षद्वीप, मध्य प्रदेश, पुडुचेरी, राजस्थान, तमिलनाडु, उत्तर प्रदेश व पश्चिम बंगाल को कवर करती है.

इनमें से तमिलनाडु, पुडुचेरी, केरल व पश्चिम बंगाल में 2026 में चुनाव होने हैं. असम में भी 2026 में चुनाव होने हैं. जहां मतदाता सूची के संशोधन की घोषणा अलग से की गई है. इसे विशेष संशोधन कहा जा रहा है. अधिकांश राज्यों में मतदाता सूची का अंतिम SIR 2002 व 2004 के बीच हुआ था. उन्होंने अपने-अपने राज्यों में हुए अंतिम SIR के अनुसार वर्तमान मतदाताओं का मानचित्रण लगभग पूरा कर लिया है. SIR का मुख्य उद्देश्य जन्मस्थान की जांच करके विदेशी अवैध प्रवासियों को बाहर निकालना है. बांग्लादेश व म्यांमार सहित विभिन्न राज्यों में अवैध प्रवासियों पर की जा रही कार्रवाई के मद्देनजर यह कदम महत्वपूर्ण हो जाता है.

Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-