आज का दिनः 1 शुक्रवार, 12 अगस्त 2022, संपूर्ण समृद्धि प्रदाता वरलक्ष्मी व्रत!

आज का दिनः 1 शुक्रवार, 12 अगस्त 2022, संपूर्ण समृद्धि प्रदाता वरलक्ष्मी व्रत!

प्रेषित समय :20:14:54 PM / Thu, Aug 11th, 2022

- प्रदीप लक्ष्मीनारायण द्विवेदी
इस युग में देवी लक्ष्मी का आशीर्वाद सभी को चाहिए. देवी लक्ष्मी की कृपा प्राप्त करने के लिए अनेक पूजा-व्रत हैं. ऐसा ही उत्तम व्रत है- वरलक्ष्मी व्रत! 
धन की देवी वरलक्ष्मी, लक्ष्मी का द्वितीय अवतार मानी जाती हैं. यह व्रत सुहागन महिलाएं बड़े ही उत्साह से मनाती हैं क्योंकि जैसा कि कहा गया है यह देवी लक्ष्मी द्वारा वर प्रदान करनेवाला प्रमुख उत्सव है!
दक्षिण भारत में वरलक्ष्मी व्रत विशेष रूप से लोकप्रिय है. यह व्रत विवाहित महिलाओं द्वारा पति के शुभ-मंगल, कार्य-व्यवसाय एवं लम्बी आयु के लिए किया जाता है. इस व्रत के प्रभाव से संतानसुख प्राप्त होता है. 
ऐसे करें वरलक्ष्मी व्रतपूजा- 
महिलायें इस दिन सवेरे जल्दी उठकर पवित्र स्नान करती हैं और देवी लक्ष्मी की आराधना के लिए श्रृंगार करती हैं. 
देवी लक्ष्मी को उत्तम आसन पर प्रतिष्ठित करके देवी का श्रृंगार करते हैं.
देवी लक्ष्मी की पूजा-प्रसाद-श्रृंगार के लिए सामग्री इस प्रकार है- हल्दी, कुमकुम, चंदन, फूल, फल, लाल वस्त्र, पानपत्ते, श्रीफल- नारियल, चावल, चना, मिष्ठान्न आदि
सर्वप्रथम श्रीगणेशदेव की पूजा-आराधना की जाती है.
देवी लक्ष्मी की मूर्ति को पूजा के स्थान पर प्रतिष्ठित करने के बाद पूजा के स्थान पर चावल अर्पित करें.
श्रीकलश लें और उसके चारों ओर चंदन लगाकर उसमें आधे ऊपर चावल भर लें और फिर इसमें पानपत्ते, खजूर और चाँदी का सिक्का रखें.
श्रीकलश पर श्रीफल- नारियल रखें और श्रीफल के चारों ओर आम के पत्ते लगाएं और देवी लक्ष्मी के समक्ष दीपक प्रज्वलित कर पूजा-अर्चना करें.
पूजा के बाद प्रसाद वितरित करें और देवी लक्ष्मी के भक्तिगीत आयोजित करें.
जितनी पवित्र भावना और पवित्र उद्देश्य से देवीलक्ष्मी की पूजा करेंगे उतनी ही जल्दी देवी वरलक्ष्मी की कृपा प्राप्त होगी!
 -आज का राशिफल -
मेष राशि:- अपनी दिनचर्या में बदलाव लाये.यश कीर्ति में वृद्धि के साथ ही कारोबार में लाभ बढ़ेगा. संतान पर ध्यान रखने के साथ ही अपने व्यवहार में नम्रता लाने की आवश्यक है. वाहन सुख मिलेगा.

वृष राशि:- दिन की शुरुआत शुभ संकल्पों से होगी. नए कारोबार में लाभ की संभावना कम है. कॅरियर में निराश न हों, समय बदलेगा. नए आवास के योग भी बन रहे हैं. माता पिता के स्वास्थ्य में लाभ होगा.

मिथुन राशि:- आज धनागमन सहज होने से लाभ होगा, स्वास्थ्य ठीक रहेगा. कारोबार में विवाद शांत होंगे. समय बदलेगा. वाहन खरीदने के योग के बीच काम करने के तरीको में सुधार की जरूरत है.

कर्क राशि:- लाभ के अवसरों के बीच कार्यस्थल पर स्थिति आप के पक्ष में बनेगी. साथ ही नौकरी में विवाद शांत होंगे. परिवार में बुजुर्गो को स्वास्थ्य समस्या बढ़ेगी. घर पर शांति बनाए रखें.

सिंह राशि:- दूसरों के निजी मामलों में बोलना बंद करें. अपने पराये में फर्क समझें. ‍दिनचर्या नियंत्रित रखते हुए कुछ भी बोलने से पहले विचार करें. किसी दूर के मित्र से मुलाकात फायदेमंद साबित होगी.

कन्या राशि:- वाणी पर नियंत्रण रखने के चलते शत्रु भी प्रशंसा करेंगे.मान-प्रतिष्ठा बढ़ने के साथ ही न्याय पक्ष उत्तम रहेगा. बाहरी विवादों का असर परिवार पर न होने दें. वैवाहिक जीवन में शांति रहेगी.

तुला राशि:- लाभ के अवसर के बीच कार्यस्थल का वातावरण पक्ष में होगा. सोच के अलग कार्य होने से परेशानी बढ़ सकती हे. विवादों में मौन ही लाभदायक होगा. अपने से बड़ों का आदर करें.

वृश्चिक राशि:- नौकरी में अशांति का वातावरण बनने की संभावना के बीच धोखा होने की आशंका है. स्वास्थ्य कमजोर रहेगा. फिजूल खर्च बढ़ेंगे. पुराने रोग उभरने की संभावना है.

धनु राशि:- इष्ट बल पर मजबूत के चलते आर्थिक निवेश से लाभ के आसार हैं. लेकिन दिन चिंताजनक व्यतीत होने से मानसिक पीड़ा हावी रहेगी. सन्तान के स्वास्थ में सुधार होगा.

मकर राशि:- दिन की शुरुआत आनंददायक रहेगी. पुराने मित्र से मुलाकात से लाभ के योग के बीच शत्रु परास्त होंगे. यात्रा के योग हैं. श्वांस से सम्बंधित रोग से ग्रसित रह सकते हैं.

कुम्भ राशि:- स्वयं के व्यवहार में बदलाव के चलते लाभ के अवसर बढ़ेगें. समय के साथ अपने आचार विचार में बदलाव करना पड़ेगा.सुख शांति चाहते हैं तो व्यवहार में बदलाव लाएं.

मीन राशि:- अपने आप पर विश्वास रखें न कि दूसरो के भरोसे रहें. स्वास्थ्य ठीक होगा, लेकिन व्यय बढ़ेंगे. ध्यान रहे आलस्य से बड़ा कोई शत्रु नहीं है. अत: सजग रहे व सतर्क रहें.
* आचार्य पं. श्रीकान्त पटैरिया (ज्योतिष विशेषज्ञ) वाट्सएप नम्बर 9131366453   
* यहां राशिफल चन्द्र के गोचर पर आधारित है, व्यक्तिगत जन्म के ग्रह और अन्य ग्रहों के गोचर के कारण शुभाशुभ परिणामों में कमी-वृद्धि संभव है, इसलिए अच्छे समय का सद्उपयोग करें और खराब समय में सतर्क रहें.
- शुक्रवार का चौघडिय़ा -
दिन का चौघडिय़ा      रात्रि का चौघडिय़ा
पहला- चर                    पहला- रोग
दूसरा- लाभ                 दूसरा- काल
तीसरा- अमृत             तीसरा- लाभ
चौथा- काल               चौथा- उद्वेग
पांचवां- शुभ               पांचवां- शुभ
छठा- रोग                 छठा- अमृत
सातवां- उद्वेग          सातवां- चर
आठवां- चर              आठवां- रोग

* चौघडिय़ा का उपयोग कोई नया कार्य शुरू करने के लिए शुभ समय देखने के लिए किया जाता है 
* दिन का चौघडिय़ा- अपने शहर में सूर्योदय से सूर्यास्त के बीच के समय को बराबर आठ भागों में बांट लें और हर भाग का चौघडिय़ा देखें.
* रात का चौघडिय़ा- अपने शहर में सूर्यास्त से अगले दिन सूर्योदय के बीच के समय को बराबर आठ भागों में बांट लें और हर भाग का चौघडिय़ा देखें.
* अमृत, शुभ, लाभ और चर, इन चार चौघडिय़ाओं को अच्छा माना जाता है और शेष तीन चौघडिय़ाओं- रोग, काल और उद्वेग, को उपयुक्त नहीं माना जाता है.
* यहां दी जा रही जानकारियां संदर्भ हेतु हैं, स्थानीय पंरपराओं और धर्मगुरु-ज्योतिर्विद् के निर्देशानुसार इनका उपयोग कर सकते हैं.
* अपने ज्ञान के प्रदर्शन एवं दूसरे के ज्ञान की परीक्षा में समय व्यर्थ न गंवाएं क्योंकि ज्ञान अनंत है और जीवन का अंत है!
पंचांग 
शुक्रवार, 12 अगस्त 2022
वरलक्ष्मी व्रतम्
गायत्री जयन्ती
संस्कृत दिवस
नारली पूर्णिमा
शक सम्वत1944   शुभकृत
विक्रम सम्वत2079
काली सम्वत5123
प्रविष्टे / गत्ते28
मास श्रावण
दिन काल13:15:26
तिथि पूर्णिमा - 07:06:53 तक, प्रतिपदा - 27:48:25 तक
नक्षत्र धनिष्ठा - 25:36:23 तक
करण बव - 07:06:53 तक, बालव - 17:25:08 तक
पक्ष शुक्ल
योग सौभाग्य - 11:33:20 तक
सूर्योदय 05:48:15
सूर्यास्त 19:03:42
चन्द्र राशि मकर - 14:49:56 तक
चन्द्रोदय 19:41:00
चन्द्रास्त चन्द्रास्त नहीं
ऋतु वर्षा
अभिजित मुहूर्त 11:49 ए एम से 12:41 पी एम
अग्निवास पाताल - 07:05 ए एम तक , पृथ्वी
दिशा शूल पश्चिम
चन्द्र वास दक्षिण - 02:49 पी एम तक
पश्चिम - 02:49 पी एम से पूर्ण रात्रि तक
राहु वास दक्षिण-पूर्व

Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-

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