अभिमनोज. इन दिनों बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के हर शब्द के अर्थ-भावार्थ तलाश कर यह सियासी अनुमान लगाया जा रहा है कि कहीं वे फिर से पाला तो नहीं बदलने वाले हैं?
अभी.... मोदी सरकार ने मंगलवार को बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री और जननायक कर्पूरी ठाकुर को भारत रत्न देने की घोषणा की, तो अनेक राजनीतिक दलों ने इस फैसले का स्वागत किया, जाहिर है.... नीतीश कुमार भी केंद्र सरकार का आभार जताने में पीछे नहीं रहे, लेकिन जो पहली पोस्ट उन्होंने की उसमें पीएम मोदी का जिक्र नहीं था किन्तु इसे डिलीट करके उन्होंने फिर पोस्ट की और इस बार अंत में पीएम मोदी का आभार भी मान लिया?
नीतीश कुमार का फाइनल ट्वीट है कि- पूर्व मुख्यमंत्री और महान समाजवादी नेता कर्पूरी ठाकुर को देश का सर्वाेच्च सम्मान ‘भारत रत्न’ दिया जाना हार्दिक प्रसन्नता का विषय है. केंद्र सरकार का यह अच्छा निर्णय है. कर्पूरी ठाकुर को उनकी 100वीं जयंती पर जयंती पर दिया जाने वाला यह सर्वाेच्च सम्मान दलितों, वंचितों और उपेक्षित तबकों के बीच सकारात्मक भाव पैदा करेगा. हम हमेशा से ही कर्पूरी ठाकुर को ‘भारत रत्न’ देने की मांग करते रहे हैं. वर्षों की पुरानी मांग आज पूरी हुई है. लेकिन.... मजेदार बात यह है कि इस पोस्ट के अंत में इस बार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का उन्होंने आभार जताया!
अब इसे नीतीश कुमार के पाला बदलने की संभावनाओं को से जोड़ कर देखा जा रहा है?
इससे पहले नीतीश कुमार अचानक राजभवन पहुंच गए थे और साथ में उनके बेहद करीबी वित्तमंत्री विजय चौधरी भी थे, लगभग 40 मिनट की मुलाकात हुई, लेकिन बात क्या हुई यह रहस्य चर्चाओं में बना रहा?
दिलचस्प बात यह है कि सियासी चर्चाओं में इसे भी नीतीश कुमार के पाला बदलने से जोड़ा गया!
दरअसल नीतीश कुमार अनेक बार पाला बदल चुके हैं, लिहाजा उनकी सियासी गतिविधियों पर सवालिया निशान लगाना आसान है?
याद रहे.... इस वक्त लालू प्रसाद यादव की पार्टी आरजेडी के साथ मिलकर बिहार में सरकार चला रहे नीतीश कुमार ने ही 1994 में बिहार में जनता दल पर लालू यादव के नियंत्रण की खिलाफत करकेे समता पार्टी बनाने के लिए जॉर्ज फर्नाडीस के साथ गठबंधन किया, जो अटल बिहारी वाजपेयी के नेतृत्व वाले गठबंधन में साथ रही.
लेकिन.... जब 2013 में बीजेपी ने नरेंद्र मोदी को लोकसभा चुनाव समिति का अध्यक्ष नियुक्त किया तो, नीतीश कुमार को रास नही आया, जेडीयू, एनडीए से अलग हो गई.
यही नहीं, वर्ष 2015 में बिहार विधानसभा चुनाव में नीतीश कुमार ने राष्ट्रीय जनता दल और कांग्रेस के साथ महागठबंधन बनाया, परन्तु.... बाद में राजद से असहमति के कारण महागठबंधन सरकार छोड़ दी.
इसके बाद 2017 में एक बार फिर नीतीश कुमार की जेडीयू एनडीए के साथ आ गई.
वर्ष 2022 में अंतरात्मा की आवाज पर एक बार फिर एनडीए छोड़ दी और महागठबंधन के साथ मिलकर फिर सरकार बनाई?
क्या अब फिर नीतीश कुमार पाला बदलेंगे, इस पर वे संभवतया मौन ही रहेंगे, क्योंकि.... मौन के कारण उनकी सियासी जरूरत बढ़ रही है!
देखना दिलचस्प होगा कि नीतीश कुमार क्या करेंगे?
https://twitter.com/NitishKumar/status/1749844546895400970
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