पुलिस की मेहमानी कर रहे नाइजीरियन को भेजा गया स्वदेश, ढाई महीने की खातिरदारी, गृह विभाग के खर्च किए डेढ़ लाख रुपए

पुलिस की मेहमानी कर रहे नाइजीरियन को भेजा गया स्वदेश

प्रेषित समय :19:03:29 PM / Sun, Sep 22nd, 2024
Reporter : पलपल रिपोर्टर

पलपल संवाददाता, जबलपुर. एमपी के जबलपुर में सिविल लाइन पुलिस की मेहमानी कर रहे नाइजीरियन जॉन अनुबिरी उर्फ ब्राउनी स्वदेश भेज दिया गया है. पुलिस की टीम उसे दिल्ली में नाइजीरियाई दूतावास छोड़कर आ गई है. वहां से वह अपने देश के लिए रवानाहो गया है. ब्राउनी को भेजने में गृह विभाग के डेढ़ लाख रुपए खर्च हुए है.

बताया गया है कि विजय नगर में रहने वाली महिला से ब्राउनी व उसके तीन साथियों हरेंद्र सिंह, बद्रीश मिश्रा व शिवम गुप्ता ने 16 लाख 26 हजार रुपए की ठगी की थी. बद्रीश मिश्रा ने शादी डाट कॉम पर महिला से दोस्ती की. बताया कि वह लंदन का रहने वाला है और पेशे से डॉक्टर है. अपना नाम मैक्स विलियम बताकर शादी का प्रपोजल रखा. बातचीत शुरू हुई तो महिला ने अपना मोबाइल नंबर दे दिया. एक महीने तक दोनों के बीच बातचीत होती रही. इसके बाद 3 मार्च 2018 को बद्रीश ने हरेंद्र, शिवम व ब्राउनी के साथ मिलकर महिला को फोन लगाया. उसने कहा कि वह लंदन से भारत आया है. उसके लिए गिफ्ट लाया है, लेकिन कस्टम वालों ने रोक लिया है. मदद के नाम पर उसने महिला से उसके बैंक खाते में इंडियन करेंसी डालने को कहा. इस तरह की कहानी बनाकर   महिला से 16 लाख 26 हजार रुपए अपने बैंक खाते में जमा करा लिए. पैसे जमा कराने के बाद मोबाइल बंद कर लिया. महिला ने ठगी होने का अंदेशा होने पर  अप्रैल 2018 में महिला ने स्टेट साइबर सेल में मामले की शिकायत की थी. इसके बाद पुलिस ने मामले की जांच करते हुए ब्राउनी व उसके साथियों को गिरफ्तार कर लिया था. वर्ष 2021 में छूटने पर शिवम, बद्रीश व हरेंद्र अपने-अपने घर चले गए.  जबकि वीजा और पासपोर्ट नहीं होने पर ब्राउनी दिल्ली में रुका रहा. मामले में सुनवाई चल रही थी. पेशी के लिए ब्राउनी को कई बार नोटिस भेजे गए. जब वह नहीं आया तो उसके खिलाफ स्थायी वारंट जारी किया गया. स्टेट साइबर सेल ने उसे जून 2024 में दिल्ली से दोबारा गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश किया. एक महीने तक जबलपुर सेंट्रल जेल में रहने के बाद जुलाई 2024 में पंचम अपर सत्र न्यायालय ने ब्राउनी को दोषमुक्त कर दिया. रिहा होने के बाद पुलिस के सामने उसे नाइजीरिया भेजने की समस्या आ गई. इसके बाद न चाहते हुए भी वह पुलिस का मेहमान बन गया. करीब ढाई माह से सिविल लाइन थाना में पुलिस की मेहमानी कर रहे ब्राउनी का सारा खर्च भी पुलिस उठा रही थी. पुलिस अधिकारियों का कहना है कि ब्राउनी को होटल से दो वक्त का भोजन मंगाया जाता रहा, इसके अलावा नाश्ता, चाय भी दिया जाता था. यहां तक कि उससे थाना में छोटा-मोटा काम कराया जाता रहा. उसका थाना में व्यवहार भी अच्छा रहा. 

Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-