नौ ग्रहों के ये नौ मंत्र कमजोर ग्रह को करते हैं मजबूत

नौ ग्रहों के ये नौ मंत्र कमजोर ग्रह को करते हैं मजबूत

प्रेषित समय :20:27:14 PM / Sat, Apr 5th, 2025
Reporter : पलपल रिपोर्टर

*_ज्योतिष शास्त्र में नौ ग्रह बताएं गए हैं, जिनकी चाल का सीधा असर व्यक्ति के जीवन पर पड़ता है . किसी व्यक्ति की कुंडली को देखकर ग्रहों की स्थिति का विचार किया जाता है, जन्मपत्री (कुंडली) में जब ग्रह कमजोर होते हैं तो व्यक्ति को उससे संबंधित बुरे परिणाम प्राप्त होते हैं. वहीं जब ग्रह मजबूत होते हैं तो जातकों को उसका प्रत्यक्ष लाभ भी मिलता है. हालांकि ग्रहों को मजबूत बनाने के लिए उपाय भी बताए गए हैं और इनमें सबसे ज्यादा कारगर उपाय हैं ग्रहों से जुड़े मंत्रों का जाप. आइए जानते हैं ग्रह और उनसे जुड़े मंत्र और उनका लाभ.....*
*१:- सूर्य ग्रह:-*  ज्योतिष शास्त्र में सूर्य ग्रह को ग्रहों का राजा माना जाता है. जीवन में मान-सम्मान, नौकरी और समृद्धिशाली जीवन जीने के लिए सूर्य देव की कृपा जरूरी होती है और उनका आशीर्वाद पाने के लिए सूर्य ग्रह के मंत्र का जप करना चाहिए. 
*सूर्य बीज मंत्र - ॐ ह्रां ह्रीं ह्रौं सः सूर्याय नमः.*
*२:- चंद्र ग्रह:-* कुंडली में चंद्र दोष होने से कलह, मानसिक विकार, माता-पिता की बीमारी, दुर्बलता, धन की कमी जैसी समस्याएं सामने आती हैं. चंद्रमा मन का कारक ग्रह होता है. कुंडली में चंद्र को मजबूत बनाने के लिए चंद्र ग्रह के मंत्र का जप करना चाहिए.
*चंद्र मंत्र - ॐ श्रां श्रीं श्रौं सः चंद्रमसे नमः.*
*३:- मंगल ग्रह:-*  मंगल साहस और पराक्रम का कारक ग्रह है. कुंडली में मंगल के कमजोर होने पर उसके साहस और ऊर्जा में निरंतर कमी रहती है. मंगल को मजबूत करने के लिए मंगल ग्रह के मंत्र का जप करना चाहिए. 
*मंगल मंत्र - ॐ क्रां क्रीं क्रौं सः भौमाय नमः.*
*४:- बुध ग्रह:-* जीवन में तरक्की और प्रसिद्धि पाने के लिए कुंडली में बुध का मजबूत होना आवश्यक है. बौद्धिक नजरिए से सबसे प्रबल ग्रह होता है. कुंडली में बुध ग्रह को मजबूत करने के लिए बुध ग्रह के मंत्र का जप करना चाहिए.
*बुध मंत्र - ॐ ब्रां ब्रीं ब्रौं सः बुधाय नमः.*
*५:- बृहस्पति ग्रह:-* वैवाहिक जीवन से जुड़ी समस्याओं के लिए इस मंत्र का जप करना चाहिए. कुंडली में बृहस्पति के शुभ प्रभाव से धन लाभ, सुख-सुविधा, सौभाग्य, लंबी आयु आदि मिलता है. कुंडली में देवगुरु बृहस्पति की मजबूती के लिए जातकों को गुरु मंत्र का जप करना चाहिए.
*गुरु मंत्र - ॐ ग्रां ग्रीं ग्रौं सः गुरुवे नमः.*
*६:- शुक्र ग्रह:-* कुंडली में शुक्र ग्रह के मजबूत होने पर सभी तरह के ऐशो-आराम की सुविधा मिलती है और इसे मजबूत करने के लिए जातकों को शुक्र मंत्र का जाप करना चाहिए.
*शुक्र मंत्र - ॐ द्रां द्रीं द्रौं सः शुक्राय नमः.*
*७:- शनि ग्रह:-* ज्योतिष में शनि देव को कर्मफलदाता के नाम से जाना जाता है. यदि कुंडली में शनि ग्रह भारी होता है तो जिंदगी में परेशानियां बनी रहती हैं. इन परेशानियों को दूर करने के लिए शनि मंत्र का जाप करना चाहिए.
*शनि मंत्र:- ॐ प्रां प्रीं प्रौं सः शनैश्चराय नमः.*
*८:- राहु ग्रह:-* राहु एक छाया ग्रह है. तनाव को कम करने के लिए राहु मंत्र का जप करना चाहिए. कुंडली में यदि राहु अशुभ स्थिति में है तो व्यक्ति को आसानी से सफलता नहीं मिलती है. राहु को मजबूत करने के लिए राहु मंत्र का जप करना चाहिए.
*राहु मंत्र:- ॐ भ्रां भ्रीं भ्रौं सः राहवे नमः.*
*९:- केतु ग्रह:-* केतु एक छाया ग्रह ग्रह है, जिसका अपना कोई वास्तविक रूप नहीं है. यदि कुंडली में केतु की स्थिति कमजोर होती है तो यह जिंदगी को बदतर बना देता है. जीवन में कलह बना रहता है. ऐसे में कलह से बचने के लिए केतु मंत्र का जाप करना चाहिए.
*केतु मंत्र:- ॐ स्रां स्रीं स्रौं सः केतवे नमः.

Astro nirmal

Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-