भोपाल/इटारसी. पश्चिम मध्य रेलवे के भोपाल रेल मंडल के भोपाल लॉबी हो या फिर इटारसी के लोको फोरमैन, दोनों जगह इन दिनों जमकर अंधेरगर्दी मची हुई है. इटारसी के लोको फोरमैन तो अपनी नियम विरुद्ध कार्य शैली से अब सीधे रेलवे के राजस्व की हर माह लाखों रुपए की चपत लगा रहे हैं. वे अपने खासमखास लोको पायलट व शंटर्स से ट्रेन संचालन कार्य कराने की बजाय बाबूगिरी का काम करा रहे हैं. जिसकी शिकायत पश्चिम मध्य रेलवे के महाप्रबंधक को वेस्ट सेंट्रल रेलवे एम्पलाइज यूनियन (डबलूसीआरईयू) ने की है.
बताया जाता है कि लोको फोरमैन इटारसी के अधीन कार्यरत लोको पायलट शंटर वर्ग के कर्मचारियों ने यूनियन को जानकारी दी है कि लोको फोरमैन द्वारा लोको पायलट - शंटर कर्मचारियों को अनावश्यक रूप से लोबी में नॉन रनिंग ड्यूटी करवाकर रेल राजस्व की गंभीर हानि की जा रही है. इन कछ कर्मचारियों को इन्डोर शंटर शेड मेन के नाम से लोबी ड्यूटी में बुक किया जाता है तथा ये कभी यार्ड, शेड या अन्य पाईन्ट पर शंटिंग ड्यूटी नहीं करते हैं.
रेलवे ने जो काम ठेके पर दिया, वहां पर मोटा वेतन पाने वाले एलपी को लगाया
उल्लेखनीय है कि जहां ये कर्मचारी ऑफिस ड्यूटी कर रहें हैं वहां सीएमएस पर कार्य करने हेतु पहले ही प्राइवेट ठेका हो चुका है एवं ठेकेदार के कर्मचारी वहां पहले से ही कार्यरत हैं. ऐसे में उन कर्मचारियों के होते हुए रेलवे के शंटरों को उन्हीं की पोस्ट पर काम करवाना मैन पावर का गम्भीर दुरुपयोग, लोको फोरमैन की मनमानी एवं लगभग प्रतिमाह 10 लाख रुपये से ऊपर के रेल राजस्व के जबरदस्त दुरुपयोग को प्रदर्शित करता है. ऐसे लोको पायलट शंटर कर्मचारी जो प्राइवेट ठेकेदार के कर्मचारी ऑफिस में होने के बावजूद भी शंटर का कार्य ना कर ऑफिस में कार्य कर रहें हैं, उनकी संख्या लगभग 15 है.
रेल प्रशासन तत्काल रोके राजस्व का नुकसान
यूनियन ने पमरे के जीएम से मांग की है कि लोको फोरमैन ईटारसी के द्वारा मेन पावर का दुरुपयोग एवं रेल राजस्व की जबरदस्त हानि करने के कृत्य पर तत्काल लगाम लगाई जाये एवं इनके खिलाफ आवश्यक कार्यवाही की जाये, ताकि इस प्रकार के कार्यों की पुनरावृत्ति ना हो. साथ ही अनावश्यक रूप से ऑफिस में कार्य कर रहे सभी लोको पायलट शंटर को इनके मूल पद पर रनिंग ड्यूटी करवाई जाये जिससे अन्य कर्मचारियों पर कार्य का अनावश्यक दबाव ना पड़े.
Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-