-प्रदीप लक्ष्मीनारायण द्विवेदी, बॉलीवुड एस्ट्रो एडवाइजर (व्हाट्सएप- 8875863494)
* सोम प्रदोष व्रत - जून 23, 2025
* प्रदोष पूजा मुहूर्त - 19:22 से 21:27
* त्रयोदशी तिथि प्रारम्भ - 23 जून 2025 को 01:21 बजे
* त्रयोदशी तिथि समाप्त - 23 जून 2025 को 22:09 बजे
शिवकृपा प्राप्त करने के लिए हर महीने के कृष्ण और शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी पर प्रदोष व्रत किया जाता है.
भोलेनाथ जब प्रसन्न होते हैं तो समस्त दोष समाप्त कर परम प्रसन्नता, परम सुख प्रदान करते हैं, प्रदोष व्रत-पूजा बहुत ही सरल है क्योंकि भोलेनाथ एकमात्र देव हैं जो पवित्र मन से की गई पूजा से ही प्रसन्न हो जाते हैं.
शिवोपासना में दुर्लभ मंत्र और कीमती पूजा सामग्री की जरूरत नहीं है, सच्चे मन से... जाप करें और शिवलिंग पर सर्वसुलभ पवित्र जल चढ़ाएं.
सुख का अहसास कराता है- शांत मन और दुख का कारण है- अशांत मन, शिवोपासना से तुरंत मानसिक शांति प्राप्त होती है.
प्रदोष व्रत में दिनभर निराहार रहकर सायंकाल पवित्र स्नान करने के बाद श्वेत वस्त्रों में शांत मन से भगवान शिव का पूजन किया जाता है.जैसा कि नाम से ही स्पष्ट है, प्रदोष व्रत को करने से हर प्रकार के दोष मिट जाते है.
इस व्रत के प्रमुख देवता शिव हैं इसलिए उनके साथ-साथ शिव परिवार की आराधना विशेष फलदायी मानी जाती है.
विभिन्न दिनों के प्रदोष व्रत का अलग-अलग महत्व और प्रभाव होता है....
सोमवार के दिन प्रदोष व्रत करने से सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं, मंगलवार को प्रदोष व्रत रखने से ऋण-रोग से मुक्ति मिलती है, बुधवार के दिन यह व्रत करने सर्व कामना सिद्धि होती है, बृहस्पतिवार के प्रदोष व्रत से शत्रुओं का नाश होता है, शुक्रवार प्रदोष व्रत से सौभाग्य की वृद्धि होती है, शनिवार प्रदोष व्रत से संतान सुख की प्राप्ति होती है, रविवार के दिन प्रदोष व्रत हमेशा स्वस्थ रखता है, संपूर्ण वर्ष प्रदोष व्रत संपूर्ण सुख प्रदान करता है!
श्री त्रिपुरा सुंदरी दैनिक धर्म-कर्म पंचांग-चौघड़िया : 23 जून 2025
शक सम्वत 1947, विक्रम सम्वत 2082, अमान्त महीना ज्येष्ठ, पूर्णिमान्त महीना आषाढ़, वार सोमवार, पक्ष कृष्ण, तिथि त्रयोदशी - 22:09 तक, नक्षत्र कृत्तिका - 15:16 तक, योगधृति - 13:17 तक, करण गर - 11:46 तक, द्वितीय करण वणिज - 22:09 तक, सूर्य राशि मिथुन, चन्द्र राशि वृषभ, राहुकाल 07:29 से 09:11, अभिजित मुहूर्त 12:07 से 13:02
दैनिक चौघड़िया- 23 जून 2025, सोमवार
दिन का चौघड़िया
अमृत - 05:47 से 07:29
काल - 07:29 से 09:11
शुभ - 09:11 से 10:53
रोग - 10:53 से 12:35
उद्वेग - 12:35 से 14:16
चर - 14:16 से 15:58
लाभ - 15:58 से 17:40
अमृत - 17:40 से 19:22
रात्रि का चौघड़िया
चर - 19:22 से 20:40
रोग - 20:40 से 21:58
काल - 21:58 से 23:17
लाभ - 23:17 से 00:35
उद्वेग - 00:35 से 01:53
शुभ - 01:53 से 03:11
अमृत - 03:11 से 04:29
चर - 04:29 से 05:47
* चौघडिय़ा का उपयोग कोई नया कार्य शुरू करने के लिए शुभ समय देखने के लिए किया जाता है.
* दिन का चौघडिय़ा- अपने शहर में सूर्योदय से सूर्यास्त के बीच के समय को बराबर आठ भागों में बांट लें और हर भाग का चौघडिय़ा देखें.
* रात का चौघडिय़ा- अपने शहर में सूर्यास्त से अगले दिन सूर्योदय के बीच के समय को बराबर आठ भागों में बांट लें और हर भाग का चौघडिय़ा देखें.
* अमृत, शुभ, लाभ और चर, इन चार चौघडिय़ाओं को अच्छा माना जाता है और शेष तीन चौघडिय़ाओं- रोग, काल और उद्वेग, को उपयुक्त नहीं माना जाता है.
* यहां दी जा रही जानकारियां संदर्भ हेतु हैं, विभिन्न पंचांगों, धर्मग्रथों से साभार ली गई है, स्थानीय समय, परंपराओं और धर्मगुरु-ज्योतिर्विद् के निर्देशानुसार इनका उपयोग कर सकते हैं, क्योंकि यहां दिया जा रहा समय अलग-अलग शहरों में स्थानीय समय के सापेक्ष थोड़ा अलग हो सकता है.
आज का राशिफल -
मेष राशि:- परिवार के छोटे सदस्यों की अध्ययन संबंधी चिंता रह सकती है. दुष्टजनों से सावधान रहें. कोई कारोबारी बड़ा सौदा बड़ा लाभ दे सकता है. शेयर मार्केट से मनोनुकूल लाभ होगा. जल्दबाजी न करें.
वृष राशि:- शत्रुता बढ़ सकती है. वाणी में नियंत्रण आवश्यक है. कुंआरों के लिए वैवाहिक प्रस्ताव आ सकता है. शारीरिक समस्या हो सकती है. कोर्ट व कचहरी के कार्यों में अनुकूलता रहेगी. नौकरी में मातहतों का सहयोग प्राप्त होगा.
मिथुन राशि:- वाहन, मशीनरी व अग्नि आदि के प्रयोग में सावधानी रखें. शारीरिक हानि व कष्ट संभव है. पुरानी व्याधि पर व्यय होगा. किसी अपने ही व्यक्ति से अकारण विवाद हो सकता है. कीमती वस्तुएं संभालकर रखें. प्रतिद्वंद्विता में वृद्धि होगी.
मिथुन राशि:- धर्म-कर्म में रुचि रहेगी. किसी धार्मिक आयोजन में भाग लेने का अवसर प्राप्त हो सकता है. आएंगे. व्यापार-व नौकरी में कार्यभार बढ़ सकता है ऐसे लोगो का सो किराना सबन्ध क्षेत्र से व्यापार कर ते है. लेन-देन में सावधानी रखें. थकान रहेगी.
कर्क राशि:- नई योजना बनेगी. कार्यप्रणाली में सुधार होगा. सामाजिक कार्य करने की प्रेरणा मिलेगी. मान-सम्मान मिलेगा. नए कारोबारी अनुबंध हो सकते हैं. पुराना रोग उभर सकता है. दुष्टजनों से दूरी बनाए रखें. निवेश में विवेक से कार्य करें.
कन्या राशि:- बकाया वसूली के प्रयास सफल रहेंगे. कारोबारी कामकाज मनोनुकूल लाभ देंगे. नौकरी में सुख-शांति बनी रहेगी. शारीरिक कष्ट संभव है. अनहोनी की आशंका रहेगी. आराम के साधन व समय पर्याप्त प्राप्त होंगे. सेहत का विशेष ध्यान रखें.
तुला राशि:- अप्रत्याशित खर्च सामने आएंगे. हाथ तंग रहेगा. किसी व्यक्ति से व्यर्थ में विवाद हो सकता है. चिंता तथा तनाव रहेंगे. भावनाओं को वश में रखें. दिल की बात किसी को नहीं बतलाएं. जोखिम व जमानत के कार्य टालें. बड़ों की सलाह लें. लाभ होगा. चोट व रोग से बचें.
वृश्चिक राशि:- बेरोजगारी दूर करने के प्रयास सफल रहेंगे. अप्रत्याशित लाभ हो सकता है. परीक्षा व साक्षात्कार आदि में सफलता प्राप्त होगी. कारोबार में वृद्धि के योग हैं. लेन-देन में जल्दबाजी न करें.
धनु राशि:- किसी भी कानूनी फेर में न पड़ें. वाणी पर संयम रखें. मस्तिष्क पीड़ा हो सकती है. दूर से शुभ समाचार प्राप्त होंगे. घर में अतिथियों का आगमन होगा. आत्मविश्वास में वृद्धि होगी. निर्णय लेने की क्षमता बढ़ेगी.
मकर राशि:- दांपत्य जीवन सुखमय व्यतीत होगा. प्रसन्नता में वृद्धि होगी. किसी भी विवाद में न पड़ें. प्रयास सफल रहेंगे. मित्रों का सहयोग कर पाएंगे. सामाजिक प्रतिष्ठा में वृद्धि होगी. कोई बड़ा कार्य तथा लंबे प्रवास का मन बनेगा. व्यापार-व्यवसाय अनुकूल चलेगा. धनार्जन नही होगा.
कुम्भ राशि:- पुराना रोग परेशानी का कारण रह सकता है. किसी व्यक्ति से बेवजह विवाद संभव है. क्लेश रहेगा. मन में दुविधा रहेगी. दूर से दु:खद समाचार प्राप्त हो सकता है. आवश्यक वस्तु गुम हो सकती है. चिंता तथा तनाव रहेंगे. जल्दबाजी में निर्णय न लें.
मीन राशि:- शारीरिक कष्ट संभव है. चोट व रोग से बचें. आराम के साधनों पर खर्च होगा. लेखन व पठन-पाठन में समय व्यतीत हो सकता है. सफलता प्राप्त करेंगे. स्वादिष्ट भोजन का आनंद प्राप्त होगा. किसी प्रतिभाशाली व्यक्ति का सहयोग मिलेगा.
* आचार्य पं. श्रीकान्त पटैरिया (ज्योतिष विशेषज्ञ) वाट्सएप नम्बर 7879372913
* यहां राशिफल चन्द्र के गोचर पर आधारित है, व्यक्तिगत जन्म के ग्रह और अन्य ग्रहों के गोचर के कारण शुभाशुभ परिणामों में कमी-वृद्धि संभव है, इसलिए अच्छे समय का सद्उपयोग करें और खराब समय में सतर्क रहें.

