पटना. बिहार विधानसभा चुनाव 2025 के लिए नवंबर के पहले-दूसरे सप्ताह में तीन चरणों में मतदान संभावित है, जिसकी तारीखों की घोषणा जल्द होगी. वर्तमान में एनडीए और इंडिया ब्लॉक के बीच मुख्य मुकाबला है. जबकि चुनाव आयोग की मतदाता सूची पुनरीक्षण प्रक्रिया पर भी राजनीतिक विवाद गहरा रहा है.
बिहार में इस साल विधानसभा के चुनाव होने है. हालांकिए माना जा रहा है कि इस महीने के अंत या अगले महीने की शुरूआत में तारीखों की घोषणा कर दी जाएगी. वहीं चुनाव आयोग के सूत्रों बताया कि नई बिहार विधानसभा के चुनाव के लिए मतदान नवंबर के पहले या दूसरे सप्ताह में होने की संभावना है. मतदान तीन चरणों में होने की उम्मीद है. अंतिम कार्यक्रम दिवाली और छठ जैसे प्रमुख त्योहारों के आसपास निर्धारित किया जा रहा है. वर्तमान विधानसभा का कार्यकाल 22 नवंबर 2025 को समाप्त होगा और चुनाव आयोग को उस तिथि से पहले चुनाव प्रक्रिया पूरी करनी होगी. पिछली परंपरा के अनुरूप बिहार में भी कई चरणों में मतदान होगा.
2020 के चुनाव तीन चरणों में हुए थे, 28 अक्टूबर को 71 सीटों पर, 3 नवंबर को 94 सीटों पर और 7 नवंबर को 78 सीटों पर मतदान हुआ था. नतीजे 10 नवंबर को घोषित किए गए थे. 2015 में मतदान पांच चरणों में हुआ था. इस साल की लड़ाई एक बार फिर सत्तारूढ़ राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) और विपक्ष के इंडिया ब्लॉक के बीच होगी. भाजपा, जनता दल (यूनाइटेड) और लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) से मिलकर बना एनडीए, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नेतृत्व में एक और कार्यकाल की उम्मीद कर रहा है. राष्ट्रीय जनता दल ;(राजद) के नेतृत्व वाला विपक्षी खेमा, कांग्रेस और वामपंथी दलों के साथ मिलकर उन्हें सत्ता से बेदखल करने की उम्मीद कर रहा है.
243 सदस्यीय विधानसभा में एनडीए के पास वर्तमान में 131 सदस्यों के साथ बहुमत है भाजपा के 80, जद यू के 45, हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा सेक्युलर के 4, और 2 निर्दलीय विधायकों का समर्थन. इंडिया ब्लॉक के 111 विधायक हैं जिनमें राजद के 77, कांग्रेस के 19, भाकपा माले के 11, माकपा के 2 और भाकपा के 2 विधायक हैं. बिहार में चुनाव आयोग द्वारा मतदाता सूची के चल रहे विशेष गहन पुनरीक्षण अभियान को लेकर राजनीतिक पारा चढ़ गया है. विपक्ष ने आरोप लगाया है कि यह प्रक्रिया असली मतदाताओं के नाम हटाने की आड़ में की जा रही है.
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