मुंबई. महाराष्ट्र की राजनीति में एक बार फिर उबाल आया है. प्रदेश के डिप्टी सीएम अजित पवार नई मुसीबत में फंसे हुए नजर आ रहे हैं. जमीन घोटाले को लेकर बेटे पार्थ पवार पर एफआईआर को दर्ज किया गया है. इस मामले में सरकारी जमीन को कौडिय़ों के भाव में बेचने की बात सामने आई है. विपक्षी पार्टियां पहने से इसे लेकर प्रदेश सरकार पर हमलावर हैं. यह मामला काफी हाई प्रोफाइल बताया जा रहा है. डिप्टी सीएम अजित पवार के पुत्र से जुड़ा होने के कारण इस मामले को लेकर विपक्ष बिफर गया है.
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम अजित पवार के बेटे पार्थ पवार से जुड़े जमीन घोटाले केस में पुणे पुलिस ने एफआईआर दर्ज की. पुलिस ने तीन लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया है. पार्थ पवार पर आरोप है कि उनकी कंपनी Amadea Enterprises ने पुणे के मंडावा क्षेत्र में 1800 करोड़ रुपये की सरकारी जमीन को सिर्फ 300 करोड़ में खरीद सामने आई है. Amadea Enterprises में दो पार्टनर की बात सामने आई है. इसमें एक पार्थ पवार का भी नाम है. एक और आरोप यह भी है कि 21 करोड़ स्टांप ड्यूटी की जगह पर मात्र 500 के स्टांप पर सारे काम किए हैं. वहीं दूसरी ओर महाराष्ट्र के सीएम देवेंद्र फडणवीस ने इस केस में जांच के आदेश भी दे दिए हैं. ऐसे में आने वाले दिनों में पार्थ पवार की कठिनाई बढ़ गई हैं.
सीएम का ऐलान: अनियमितताएं पाई गईं, तो होगी कड़ी कार्रवाई
इस हाई प्रोफाइल केस में सरकारी अफसरों पर भी गाज गिरने की संभावना है. अभी तक तहसीलदार और सब रजिस्ट्रार को सरकारी सेवा से निलंबित किया गया. निलंबित अधिकारियों में सूर्यकांत येवले और आरबी तारु के नाम सामने आए हैं. वहीं सीएम देवेंद्र फडणवीस ने गुरुवार कहा कि उन्होंने रेवेन्यू और लैंड रिकॉर्ड डिपार्टमेंट से मामले में जानकारी देने को कहा है. वहीं इस मामले में जांच के निर्देश दिए हैं. मामले की गंभीरता से जांच हो रही है. डिप्टी सीएम भी इस प्रकार की किसी तरह गड़बड़ी का समर्थन नहीं करेंगे. सीएम ने कहा कि अगर अनियमितताएं पाई गईं, तो कड़ी कार्रवाई संभव है.
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