कोटा. दवा प्रतिनिधियों के राष्ट्रीय संगठन फेडरेशन ऑफ मेडिकल एंड सेल्स रिप्रेजेंटेटिव्ज़ एसोसियशन ऑफ इंडिया (एफएमआरएआई) के आह्वान पर केंद्र सरकार द्वारा लागू किये गये चार श्रम संहिताओं के विरोध स्वरूप आज सोमवार 24 नवम्बर को प्रात:11बजे राजस्थान मेडिकल एवं सेल्स रिप्रेजेंटेटिव्ज़ यूनियन कोटा इकाई द्वारा यूनियन के प्रदेश अध्यक्ष राकेश गालव के नेत्रत्व मे कोटा इकाई के दवा प्रतिनिधीयों ने जिलाधीश कार्यालय के सामने एकत्रित होकर विरोध प्रदर्शन किया.
उपरोक्त जानकारी देते हुए यूनियन के प्रदेश उपाध्यक्ष सुमिर झा ने बताया कि दवा प्रतिनिधियों को प्रदेश अध्यक्ष कॉ. राकेश गालव ने संबोधित करते बताया कि केंद्र सरकार द्वारा पारित चार लेबर कोड पूर्ण रूप से श्रमिक विरोधी है, जिसमे आज़ादी पश्यात् लंबे समय के संघर्ष के बाद प्राप्त किये अधिकांश श्रम अधिकारों को खतम करने का अंदेशा है. गालव ने बताया की श्रमिकों की छंटनी वाले कानून को 100 श्रमिकों से बड़ा कर 300 कर दिया गया है जिसके तहत देश के 80 प्रतिशत श्रमिक शोषण के शिकार हो जायेंगे. गालव ने कहा कि दवा उद्योग का ब्रह्मअस्त्र कहे जाने वाले कानून एसपीई एक्ट 1976 को भी कमजोर करने के प्रयास किये गए हैं, जिससे दवा कंपनियां शोषण का रास्ता अपना लेंगी. प्रदर्शनकारियों को प्रदेश उपाध्यक्ष कॉम सुमीर झा ने भी सम्बोधित किया.
तत्पश्चात रैली निकालकर व 4 श्रम सहिताओं की प्रतियाँ जलाकर अपना विरोध दर्ज .किया. इसके बाद प्रदेश अध्यक्ष राकेश गालव के नेत्रत्व मे प्रधानमंत्री के नाम ज्ञापन दिया गया. ज्ञापन देने वाले प्रतिनिधि मंडल मे प्रदेश सचिव रियाज़ुद्दीन खान, जिला कोषाध्यक्ष अनिरुद्ध सिंह, जिला संयुक्त सचिव मनीष घाटिया, विकास जैन,राजीव रंजन शामिल, सुनील शर्मा, कमल नागर आदि शामिल थे.
Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-


