AajKaDin: 7 दिसम्बर 2025, संकष्टी चतुर्थी, श्रीगणेश कृपा से ऐसे मिलेगा लोन से छुटकारा!

AajKaDin: 7 दिसम्बर 2025, संकष्टी चतुर्थी, श्रीगणेश कृपा से ऐसे मिलेगा लोन से छुटकारा!

प्रेषित समय :21:58:04 PM / Sat, Dec 6th, 2025
Reporter : पलपल रिपोर्टर

-प्रदीप लक्ष्मीनारायण द्विवेदी, बॉलीवुड एस्ट्रो एडवाइजर (व्हाट्सएप- 6367472963)
* अखुरथ संकष्टी चतुर्थी - 7 दिसम्बर 2025, रविवार
* संकष्टी के दिन चन्द्रोदय - 08:20 पीएम
* चतुर्थी तिथि प्रारम्भ - 7 दिसम्बर 2025 को 06:24 पीएम बजे
* चतुर्थी तिथि समाप्त - 8 दिसम्बर 2025 को 04:03 पीएम बजे

श्रीगणेश की शुभदृष्टि से समस्त कष्ट, नष्ट होते हैं और इसीलिए संकष्टी चतुर्थी का विशेष महत्व है.
प्रतिमाह पूर्णिमा के पश्चात आने वाली कृष्णपक्ष की चतुर्थी को संकष्टी चतुर्थी पुकारते हैं. संकट से मुक्ति मिलने को ही संकष्टी कहते हैं.
भगवान श्रीगणेश के भक्त संकष्टी चतुर्थी के अवसर पर सूर्योदय से चन्द्रोदय तक उपवास रखते हैं. 
धर्मधारणा है कि संकष्टी चतुर्थी का व्रत करने से सभी तरह के विघ्नों से मुक्ति मिल जाती है.
श्रद्धालु संकष्टी चतुर्थी का कठोर व्रत करते हैं जिसमे केवल फलों, वनस्पति उत्पादों आदि का ही उपयोग किया जाता है. 
श्रद्धालु चन्द्रमा के दर्शन करने के पश्चात व्रत खोलते हैं.
श्रीगणेश कृपा से ऐसे मिलेगा लोन से छुटकारा....
॥ ऋणमुक्ति श्री गणेश स्तोत्रम् ॥
॥ विनियोग ॥
ॐ अस्य श्रीऋणविमोचनमहागणपति-स्तोत्रमन्त्रस्य शुक्राचार्य ऋषिः ऋणविमोचनमहागणपतिर्देवता अनुष्टुप् छन्दः ऋणविमोचनमहागणपतिप्रीत्यर्थे जपे विनियोगः.
॥ स्तोत्र पाठ ॥

ॐ स्मरामि देवदेवेशंवक्रतुण्डं महाबलम्.
षडक्षरं कृपासिन्धुंनमामि ऋणमुक्तये॥1॥
महागणपतिं वन्देमहासेतुं महाबलम्.
एकमेवाद्वितीयं तुनमामि ऋणमुक्तये॥2॥
एकाक्षरं त्वेकदन्तमेकंब्रह्म सनातनम्.
महाविघ्नहरं देवंनमामि ऋणमुक्तये॥3॥
शुक्लाम्बरं शुक्लवर्णंशुक्लगन्धानुलेपनम्.
सर्वशुक्लमयं देवंनमामि ऋणमुक्तये॥4॥
रक्ताम्बरं रक्तवर्णंरक्तगन्धानुलेपनम्.
रक्तपुष्पैः पूज्यमानंनमामि ऋणमुक्तये॥5॥
कृष्णाम्बरं कृष्णवर्णंकृष्णगन्धानुलेपनम्.
कृष्णयज्ञोपवीतं चनमामि ऋणमुक्तये॥6॥
पीताम्बरं पीतवर्णपीतगन्धानुलेपनम्.
पीतपुष्पैः पूज्यमानंनमामि ऋणमुक्तये॥7॥
सर्वात्मकं सर्ववर्णंसर्वगन्धानुलेपनम्.
सर्वपुष्पैः पूज्यमानंनमामि ऋणमुक्तये॥8॥
एतद् ऋणहरं स्तोत्रंत्रिसन्ध्यं यः पठेन्नरः.
षण्मासाभ्यन्तरे तस्यऋणच्छेदो न संशयः॥9॥
सहस्रदशकं कृत्वाऋणमुक्तो धनी भवेत्॥
॥ इति रुद्रयामले ऋणमुक्ति श्री गणेशस्तोत्रम् सम्पूर्णम् ॥
दैनिक चौघड़िया - 7 दिसम्बर 2025
* दिन का चौघड़िया
उद्वेग - 07:07 से 08:27
चर - 08:27 से 09:47
लाभ - 09:47 से 11:07
अमृत - 11:07 से 12:27
काल - 12:27 से 01:47
शुभ - 01:47 से 03:07
रोग - 03:07 से 04:27
उद्वेग - 04:27 से 05:47
* रात्रि का चौघड़िया
शुभ - 05:47 से 07:27
अमृत - 07:27 से 09:07
चर - 09:07 से 10:47
रोग - 10:47 से 12:27
काल - 12:27 से 02:07
लाभ - 02:07 से 03:47
उद्वेग - 03:47 से 05:27
शुभ - 05:27 से 07:07
* चौघडिय़ा का उपयोग कोई नया कार्य शुरू करने के लिए शुभ समय देखने के लिए किया जाता है.
* दिन का चौघडिय़ा- अपने शहर में सूर्योदय से सूर्यास्त के बीच के समय को बराबर आठ भागों में बांट लें और हर भाग का चौघडिय़ा देखें.
* रात का चौघडिय़ा- अपने शहर में सूर्यास्त से अगले दिन सूर्योदय के बीच के समय को बराबर आठ भागों में बांट लें और हर भाग का चौघडिय़ा देखें.
* अमृत, शुभ, लाभ और चर, इन चार चौघडिय़ाओं को अच्छा माना जाता है और शेष तीन चौघडिय़ाओं- रोग, काल और उद्वेग, को उपयुक्त नहीं माना जाता है.
* यहां दी जा रही जानकारियां संदर्भ हेतु हैं, विभिन्न पंचांगों, धर्मग्रथों से साभार ली गई है, स्थानीय समय, परंपराओं और धर्मगुरु-ज्योतिर्विद् के निर्देशानुसार इनका उपयोग कर सकते हैं, क्योंकि यहां दिया जा रहा समय अलग-अलग शहरों में स्थानीय समय के सापेक्ष थोड़ा अलग हो सकता है.
* अपने ज्ञान के प्रदर्शन एवं दूसरे के ज्ञान की परीक्षा में समय व्यर्थ न गंवाएं क्योंकि ज्ञान अनंत है और जीवन का अंत है!
 

Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-