लुधियाना. पंजाब के लुधियाना में नगर निगम की लापरवाही के चलते यहां के बाबा मुकंद सिंह नगर में सोमवार सुबह बड़ा हादसा हो गया. फैक्टरी की दूसरी मंजिल के लेंटर को 40 जैक के सहारे ऊपर उठाते वक्त अचानक एक धमाके के साथ पहली मंजिल की छत भरभराकर गिर गई और काम कर रहे लगभग 44 मजदूर दब गए. जिनमें से तीन की मौत हो गई, जबकि 41 को निकाल लिया गया है. घायलों में सात की हालत गंभीर बताई जा रही है. दो मृतकों की पहचान बिहार निवासी मोहम्मद मुस्तकीन (40) और मोहम्मद खुर्शीद (45) के रूप में हुई है, जो लुधियाना में काकोवाल रोड पर रह रहे थे.
एक मृतक की शिनाख्त के प्रयास किए जा रहे हैं. घायलों में पास की फैक्टरी में काम करने वाले तीन मजदूर भी शामिल हैं, जहां इमारत का मलबा गिरने से वह घायल हो गए थे. अभी मलबे में पांच से छह मजदूरों के फंसे होने की आशंका है, जिन्हें निकालने का काम जारी है. पुलिस ने फैक्टरी मालिक जसविंदर सिंह और लेंटर उठाने वाले ठेकेदार मोहम्मद हारून के खिलाफ डिविजन नंबर छह में गैर-इरादतन हत्या की धारा के तहत मामला दर्जकर लिया है, दोनों आरोपी फरार हैं.
जानकारी के अनुसार मुकंद सिंह नगर में जसमेल सिंह एंड संस की पुरानी फैक्टरी है. बीते कुछ दिनों से फैक्टरी की दूसरी मंजिल का लेंटर को ऊपर उठाने का काम चल रहा था. सोमवार को अलसुबह चार बजे से 40 से अधिक मजदूर काम में जुटे थे. लगभग सारा काम पूरा हो चुका था और अंतिम चरण का काम करते वक्त सुबह लगभग 10 बजे फैक्टरी की पहली मंजिल की छत नीचे गिर गई. इसके साथ ही दूसरी मंजिल भी गिर गई. कुछ मलबा बगल की फैक्टरी पर जा गिरा.
वहां अंदर तीन मजदूर काम कर रहे थे, वह भी मलबे में दब गए. तीनों को अन्य फैक्टरी में काम कर रहे मुलाजिमों ने किसी तरह बाहर निकालकर ईएसआई अस्पताल पहुंचाया, जहां उनका इलाज चल रहा है. हादसे की जानकारी मिलते ही डीसी वरिंदर शर्मा और पुलिस कमिश्नर राकेश अग्रवाल भी मौके पर पहुंचे. इस दौरान एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमों को बुलाया गया. हादसे में माल लेकर पहुंचे एक टैंपो पर भी इमारत का मलबा गिरा, जिससे टैंपो बुरी तरह क्षतिग्रस्त हो गया, जबकि चालक परमिंदर सिंह घायल हो गया, उसे भी सिविल अस्पताल में भर्ती करवाया गया है.
आज ही उठाना था लेंटर - मुजाहिद
हादसे के बाद मलबे से निकाले गए मुजाहिद ने बताया कि उसका भाई शमशूल अभी अंदर दबा है. वह लेंटर उठाने का काम करते हैं. सोमवार को सुबह चार बजे जैक के जरिये लेंटर को ऊपर उठाया जा रहा था. अचानक पहली मंजिल की छत गिर गई. वह किनारे पर था, इसलिए थोड़ा मलबा ही उस पर गिरा और लोगों ने उसे बाहर निकाल लिया. वहीं मलबे से निकले जिबरैल और मोहम्मद ने बताया कि वह पूरी तरह घबराए हुए हैं, क्योंकि किसी तरह मौत से बचकर निकले हैं. सुबह के वक्त 40 से अधिक मजदूर काम कर रहे थे. अभी कुछ और अंदर फंसे हैं, जिन्हें निकाला जाना है.
Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-इंडोनेशिया के लेम्बाटा द्वीप में जबर्दस्त भूस्खलन, 18 की मौत, 62 लापता
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