एमपी में जून में नहीं खुलेगें स्कूल: 15 जून से एडमिशन शुरु होगें, 12वीं का रिजल्ट पिछली तीन परीक्षाओं के मूल्याकंन के आधार पर होगा

एमपी में जून में नहीं खुलेगें स्कूल: 15 जून से एडमिशन शुरु होगें, 12वीं का रिजल्ट पिछली तीन परीक्षाओं के मूल्याकंन के आधार पर होगा

प्रेषित समय :19:01:15 PM / Wed, Jun 2nd, 2021

पलपल संवाददाता, जबलपुर. मध्यप्रदेश में जून में स्कूल खुलने के आसार नहीं है, लेकिन 15 जून से स्कूलों में एडमिशन की प्रक्रिया जरुर शुरु हो जाएगी, बच्चों को लेकर किसी प्रकार की रिस्क नहीं ली जा सकती है. इस आशय की बात शिक्षा मंत्री इंदरसिंह परमार ने कही. मंत्री समूह सप्ताह में एक बार बैठक कर कोरोना की मौजूदा स्थिति की समीक्षा करेगा, यदि संक्रमण काबू में रहता है तो फिर से स्कूल खोलने को लेकर विचार किया जाएगा, सरकार ने मामले में ऑनलाइन सुझाव भी मांगे हैं. इसी तरह 12वीं कक्षा का रिजल्ट भी दसवीं या फिर तीन साल की परीक्षाओं के मूल्याकंन के आधार पर किया जाएगा.

बताया जाता है कि स्कूलों को खोलने पर चार बिन्दुओं पर सुझाव मांगे गए है, जिसमें शैक्षणिक सत्र 2021-22 प्रारम्भ करने के बारे में क्या सुझाव है, प्ले स्कूल, प्राइमरी, मिडिल स्कूल कक्षा 1 से 8 तक कब खोले जाए, कक्षा 9 से 12 तक के स्कूल निकट भविष्य में खोले जा सकते हैं, ऑन लाइन या ऑफ लाइन शिक्षण पद्धति पर क्या सुझाव है. वहीं एक बात और भी सामने आई है कि कोरोना के बढ़ते मामलों के चलते महाराष्ट्र सहित देश के कई हिस्सों में कही सीमित लॉकडाउन है तो कही रात का कफ्र्यू लगाने के हालात, गुजरात, पंजाब, महाराष्ट्र के कई इलाकों में स्कूल व कालेज खोले गए थे जिन्हे फिर से बंद करना पड़ा, पंजाब में बोर्ड परीक्षाओं को भी एक महीने के लिए टाल दिया गया है. एमपी की शिवराजसिंह चौहान सरकार ने कहा कि कोरोना संक्रमण व कफ्र्यू के चलते बहुत से बदलाव हुए है, इन बदलाव ने आवश्यकताओं को भी नए सिरे से चिन्हित व परिभाषित किया है, इनमें प्रमुख रुप से शिक्षा भी है, वर्तमान हालात को देखते हुए प्रदेश सरकार स्कूल शिक्षा को विद्यार्थियों के अनुकूल बनाने के लिए प्रयासरत है, इस दिशा में नवाचार भी किए जा रहे है, इन्ही तथ्यों को दृष्टिगत रखते हुए नया शिक्षण सत्र प्रारम्भ करने के संबंध में सुझाव मांगे गए है.

12 वीं का कोई स्टूडेंट फेल नहीं होगा, 10वीं या पिछली तीन परीक्षाओं के आधार पर बनेगा रिजल्ट-

बताया गया है कि एमपी में 12वीं के रिजल्ट के लिए आंतरिक मूल्याकंन के साथ साथ दसवीं या पिछली तीन परीक्षाओं के रिजल्ट क ो आधार बनाया जाएगा, दसवीं में जिस तरह से परीक्षा निरस्त होने पर तिमाही, छमाही व वार्षिक प्रोजेक्ट के अंकों को आधार बनाकर रिजल्ट तैयार कराया है, उसी तरह 12 वीं का रिजल्ट बनाने पर मंथन चल रहा है.

ये तरीका अपनाया जाएगा-

बताया गया है कि 9वीं और 11वीं के वार्षिक अंकों के आधार पर 12वीं का रिजल्ट बनेगा, दसवीं के साथ साथ 12वीं की तिमाही, अर्ध वार्षिक की परीक्षा के प्रदर्शन के आधार पर, इस साल जो परीक्षा दी है उसमें तिमाही, अर्धवार्षिक परीक्षा के नतीजे के आधार पर होगा.

खुद को पास माने स्टूडेंट-

 शिक्षा विशेषज्ञ का कहना है कि परीक्षा रद्द कर स्टूडेंट के पास या फेल होने का असमंजस भी खत्म हो गया है, खुद को पास मानते हुए स्टूडेंटस को आगे की तैयारी में लग जाना चाहिए, 12वीं में उन्हे जो भी अंक मिलेगें वे पिछली परीक्षा व टीचर के आकंलन के आधार पर ही मिलेगें, तरीके अलग हो सकते है डेटा का सोर्स तो यही रहेगा. 

Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-

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