नई दिल्ली. अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति (आईओसी) ने आगामी टोक्यो ओलंपिक में प्रतियोगिता से ठीक पहले प्रतिभागी देश के खिलाड़ी के कोविड-19 पॉजिटिव पाए जाने पर मिश्रित टीम निशानेबाजी स्पर्धा में वैकल्पिक खिलाड़ी को खिलाने की स्वीकृति दी है.
निशानेबाजी की व्यक्तिगत स्पर्धाओं में हालांकि यह छूट नहीं दी गई है. टोक्यो में 100 देशों के 356 निशानेबाज पदक के लिए चुनौती पेश करेंगे. सबसे अधिक प्रतिभागी महिला 10 मीटर एयर राइफल और 10 मीटर एयर पिस्टल स्पर्धा में नजर आएंगे. आईओसी के खेल विशिष्ट नियमों के अनुसार मिश्रित टीम स्पर्धा में अगर कोई खिलाड़ी स्पर्धा में हिस्सा नहीं ले पाता लेकिन राष्ट्रीय ओलंपिक समिति के पास एक और खिलाड़ी मौजूद है तो एनओसी टीम के सदस्य को बदल सकता है.
निशानेबाजी में हाल में शुरू की गई मिश्रित टीम स्पर्धाओं से भारत की मजबूत निशानेबाजी टीम की खेलों में पदक जीतने की संभावनाओं में इजाफा हुआ है. टोक्यो में मिश्रित टीम एयर पिस्टल में सौरभ चौधरी और मनु भाकर की स्टार जोड़ी के अलावा यशस्विनी सिंह देसवाल और अभिषेक वर्मा की जोड़ी पदक के लिए निशाना साधेगी. मिश्रित टीम एयर राइफल स्पर्धा में देवांश सिंह पंवार और इलावेनिल वलारिवान के साथ दीपक कुमार और अंजुम मोदगिल की जोड़ी चुनौती पेश करेगी.
इनमें से कोई निशानेबाज अगर अपनी स्पर्धाओं से पहले घातक वायरस से संक्रमित हो जाता है तो भारतीय दल और अन्य दलों के पास खिलाड़ी को बदलने का विकल्प होगा बशर्ते व्यक्तिगत पिस्टल या राइफल स्पर्धाओं में से उसके पास विकल्प उपलब्ध हो. हालांकि जो निशानेबाज कोविड पॉजिटिव पाए जाने के कारण व्यक्तिगत स्पर्धाओं में नहीं उतर पाएंगे उन्हें शुरुआत नहीं की (डीएनएस) माना जाएगा.
नियमों के अनुसार, ‘‘निशानेबाजी में अगर कोई खिलाड़ी, टीम कोविड-19 के कारण प्रतिस्पर्धा पेश नहीं कर पाता है तो उन्हें डिस्क्वालीफाई नहीं किया जाएगा और डीएनएस माना जाएगा. प्रतियोगिता के प्रारूप या समूह में कोई बदलाव नहीं होगा.
आईओसी ने कहा कि अगर एक से अधिक दिन चलने वाली स्पर्धा के बीच में कोई खिलाड़ी पॉजिटिव पाया जाता है तो दूसरे दिन स्पर्धा उसके बिना खेली जाएगी. टोक्यो 2020 के लिए एसएसआर को आईओसी और अंतरराष्ट्रीय महासंघों ने संयुक्त रूप से तैयार किया है. एसएसआर कोविड-19 पॉजिटिव आने से पड़ने वाले असर और टूर्नामेंट के प्रारूप में इसके प्रबंधन को निर्धारित करने के लिये बनाये गये हैं.
जहां तक निशानेबाजी का सवाल है तो भारतीय राष्ट्रीय राइफल संघ ने अप्रैल में ओलंपिक टीम का चयन करते समय महामारी के कारण अनिश्चित वैश्विक परिदृश्य को ध्यान में रखते हुए प्रत्येक व्यक्तिगत स्पर्धा के लिए दो रिजर्व खिलाड़ी चुने थे. मिश्रित स्पर्धाओं के लिए कोई रिजर्व खिलाड़ी नहीं रखा गया था. आईओसी के दिशानिर्देशों के आधार पर इस पर फैसला किया जाएगा.
Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-दिल्ली में सोमवार से खुलेंगे स्कूलों के ऑडिटोरियम, ट्रेनिंग इंस्टीट्यूट्स
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