सहकर्मी रेप का विरोध करने पर झारखंड की 200 महिला श्रमिकों को कंपनी ने किया बर्खास्त

सहकर्मी रेप का विरोध करने पर झारखंड की 200 महिला श्रमिकों को कंपनी ने किया बर्खास्त

प्रेषित समय :09:35:35 AM / Sun, Nov 28th, 2021

रांची. महिला सहकर्मी से रेप करने का विरोध करने पर एक कंपनी ने 200 लोगों को बाहर का रास्ता दिखा दिया. सभी 200 महिला श्रमिक झारखंड के पूर्वी सिंहभूम जिले के रहने वाले बताए जा रहे हैं. उन्होंने बताया कि वो सभी आंध्र प्रदेश की एक मछली एक्सपोर्ट कंपनी में काम करते थे. सभी महिलाओं को अचानक बिना कोई नोटिस दिए नौकरी से हटा दिया गया, इतना ही नहीं कंपनी प्रबंधन ने उन्हें तुंरत शहर छोड़ने का भी आदेश जारी किया था. इसके बाद सभी महिलाएं जमशेदपुर पहुंची.

नाबालिग के साथ हुआ था दुष्कर्म

टाइम्स ऑफ इंडिया के मुताबिक उन्होंने बताया कि कंपनी ने उनके खिलाफ यह कार्रवाई इसलिए की है क्योंकि उन्होने एक कम कम उम्र वाले महिला कर्मचारी के साथ हुए दुष्कर्म की घटना का विरोध किया था. जमशेदपुर पहुंचने के बाद महिलाओं ने शिकायत दर्ज करायी है. डीडीसी परमेश्वर भगत ने प्रवासी श्रमिको को मामले की विस्तृत जांच और दोषियों के खिलाफ कार्रवाई का आश्वासन दिया है. उन्होंने कहा कि पुलिस को मामले की जांच करने के आदेश जारी किये गये हैं. घटना को लेकर धालभूमगढ़ थाना के थाना प्रभारी ने अवनीश कुमार ने बताया कि उन्हें गुरुवार को इस घटना की जानकारी मिली थी. पर कार्रवाई में देरी इसलिए हुई है क्योंकि घटना दूसरे राज्य में हुई है. इसलिए पुलिस जल्द ही सबंधित थाने की पुलिस से समन्वय स्थापित स्थापित किया जाएगा और मामले की जांच की जाएगी. नौकरी से निकाली गयी अधिकांश महिला श्रमिक चाकुलिया, मुसाबनी, धालभूमगढ़ और घाटशिला की रहनेवाली हैं. डुमरिया की रहनेवाली गीतारानी कुमारी ने कहा कि वह निकेती फूड्स लिमिटेड में काम करती है जो आंध्र प्रदेश के नेल्लोर जिले में समुद्री मछली के पैकेजिंग और एक्सपोर्ट करती है.

दुष्कर्म का विरोध करने पर कंपनी मे काम से निकाला

उन्होंने बताया कि दुष्कर्म की शिकार नाबालिग को धालभूमगढ़ की रहनेवाली है. वह अन्य कर्मचारियों के साथ नहीं लौटी क्योंकि कंपनी ने प्रबंधन ने उसे कपंनी के कार्यस्थल से बाहर जाने की इजाजत नहीं दी. घटना को लेकर महिलाओं ने बताया कि 19 नवंबर को फ्लोर मैनेजेर ने नाबालिग को अपने कमरे में बुलाया और उसके साथ दुष्कर्म किया. जब पीड़िता ने अपने सहकर्मियों को अपने साथ हुए घटना के बारे में बताया तो सभी सहकर्मियों ने कंपनी प्रबंधन से दोषी के खिलाफ कार्रवाई की मांग की. पर कंपनी ने उलटा इन्हें ही काम से निकाल दिया. पीड़ित महिलाओं ने यह भी कहा कि उन्हें कंपनी में उचित वेतन और उचित और खाना भी नहीं मिलता था. वही घाटशिला के विधायक रामदास सोरेन ने कहा कि घटना के बारे में राज्य श्रम विभाग के अधिकारियों को अवगत करा दिया गया है. जांच की प्रतिक्षा की जा रही है. विधायक ने जांच के बाद कार्रवाई करने का आश्वासन भी दिया है.

Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-

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