अनिल मिश्र/ रांची
झारखंड प्रदेश के विभिन्न जिलों से संयुक्त अरब अमीरात गये दुबई से सभी मजदूरों ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के माध्यम से अपना विडियो बनाकर भारत सरकार और झारखंड प्रदेश सरकार से वतन वापसी कराने में मदद करने की गुहार लगाई है. पिछले तीन महीने से कंपनी ने उन्हें भुगतान करना बंद कर दिया है. जिसके कारण अब हालात ऐसी है कि वे पाई-पाई को मोहताज हैं.इसी कारण श्रमिकों ने अब केंद्र और राज्य सरकारों से घर लौटने में के लिए मदद की अपील की है.इस संबंध में श्रमिकों ने बताया कि वर्ष 2024 में वे अबू धाबी आए थे. वे लोग कजाकिस्तान, मलेशिया और सऊदी अरब में कार्य कर चुके हैं.
इन्हीं में से एक मजदूर चारुमन ने कहा कि ठेकेदार ने दो साल पहले हमें काम पर रखते समय बताया था कि कंपनी दस साल से अधिक समय से वहां काम कर रही है और भरोसेमंद है. ठेकेदार ने हमें हर महीने लगभग भारत के सत्रह हजार यानी संयुक्त अरब अमीरात के दिरहम लगभग चालीस हजार रुपए देने का वादा किया था.लेकिन पिछले तीन महीनों हमें वेतन नहीं मिला है. कंपनी के ठेकेदार तिरुपति रेड्डी और कंपनी के सुपरवाइजर को कॉल और मैसेज करने पर कोई जवाब नहीं मिल रहा है.इस संबंध में मजदूरों ने बताया कि कंपनी द्वारा किराया और बिजली बिलों का भुगतान न किए जाने के कारण उनके मकान मालिक ने उनका पानी का कनेक्शन काट दिया है.
इसके साथ ही उनके दो कमरों वाले मकान से उन्हें बाहर निकलने की धमकी दी है.इस संबंध में अर्जुन महतो ने कहा कि यह एकमात्र काम है, जिसे हम जानते हैं, लेकिन पिछले तीन महीने बेहद मुश्किल भरे रहे हैं. कभी-कभी, ठेकेदार हमें आठ लोगों के बीच बांटने के लिए छह सौ रुपए देता है .वहीं बिष्णु महतो ने कहा यहां की गर्मी असहनीय है.हम बहुत ज्यादा परेशानियों का सामना कर रहे हैं.संयुक्त अरब अमीरात में भारत के पन्द्रह प्रवासी मजदूर फंसे गए हैं. ये सभी मजदूर झारखंड प्रदेश के हजारीबाग, गिरिडीह एवं धनबाद जिले के हैं.
दुबई में फंसने वाले पन्द्रह मजदूरों में हजारीबाग के चुरामन महतो, चंद्रिका महतो, कैलाश महतो, बिशुन महतो, जगन्नाथ सिंह, लखन सिंह, सुखदेव सिंह, अर्जुन महतो, त्रिलोकी महतो, बालेश्वर महतो, वहीं गिरिडीह जिले के बैजनाथ महतो, महेंद्र महतो, सीताराम महतो और मूरत महतो के अलावा धनबाद जिले के तोपचांची अंतर्गत नेरो निवासी संजय कुमार महतो शामिल हैं.इन लोगों ने बताया कि उस कंपनी ने उन्हें कई हफ्तों से वेतन नहीं दिया है.
इनके पास खाने-पीने और बुनियादी सुविधाओं के लिए भी पैसे नहीं हैं. मकान मालिक ने समय से किराया न चुकाने की स्थित में इन सभी को घर से निकाल देने की धमकी दी है. दरअसल, संयुक्त अरब अमीरात में फंसे ये मजदूर हजारीबाग, गिरिडीह और धनबाद के प्रवासी श्रमिक हैं, जो अबू धाबी के बाहरी इलाके में फंसे हुए हैं. इन्हीं में से एक मजदूर चारुमन नाम के श्रमिक ने कहा कि हैदराबाद कि एक कंपनी ने इन्हें बिजली के काम के लिए वहां भेजा था.अब केंद्र सरकार और झारखंड प्रदेश सरकार कब तक इन मजदूरों को लाती है.ये इनके परिजनों पूछना है. ताकि अपने लोगों को अपने पास सही सलामत देख सकें.
Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-

