महापौर अन्नू का बयान, तीन वर्षों में बिना कर्ज और टैक्स बढ़ोतरी के जबलपुर विकास की नई मिसाल

महापौर अन्नू का बयान, तीन वर्षों में बिना कर्ज और टैक्स बढ़ोतरी के जबलपुर विकास की नई मिसाल

प्रेषित समय :21:52:42 PM / Fri, Aug 29th, 2025
Reporter : पलपल रिपोर्टर

जबलपुर. नगर निगम की साधारण सभा की बैठक के दूसरे दिन महापौर जगत बहादुर सिंह अन्नू का संबोधन शहर के लिए एक सकारात्मक समीक्षा के रूप में सामने आया. महापौर ने पार्षद साथियों को संबोधित करते हुए यह भरोसा दिलाया कि जबलपुर का विकास न केवल गति पकड़ चुका है, बल्कि नागरिकों की सुविधाओं को प्राथमिकता देने के साथ पारदर्शिता और जिम्मेदारी का भी उदाहरण प्रस्तुत कर रहा है.

महापौर ने अपने वक्तव्य में कहा कि पिछले 15 माह में नगर निगम ने 1000 करोड़ रुपये से अधिक का भुगतान कर अपनी वित्तीय क्षमता और ईमानदारी को साबित किया है. उन्होंने यह भी बताया कि पूरे मध्यप्रदेश में जबलपुर नगर निगम ही ऐसा निकाय है, जहां पार्षद मद सबसे अधिक है. इसी के चलते नागरिक सेवाओं और बुनियादी ढांचे में तेजी से सुधार हो रहा है.

शहर की सबसे बड़ी चुनौतियों में से एक—जल संकट और जलप्लावन—को दूर करने की दिशा में नगर निगम ने सराहनीय काम किया है. महापौर अन्नू ने संतोष जताया कि पिछले वर्षों की तुलना में इस बार शहरवासियों को पानी और जलभराव की समस्या से काफी राहत मिली है. यह उपलब्धि निगम की कार्ययोजना और समयबद्ध क्रियान्वयन का परिणाम है.

साफ-सफाई व्यवस्था को लेकर भी महापौर ने विस्तृत जानकारी दी. उन्होंने बताया कि 375 डोर-टू-डोर कचरा गाड़ियाँ प्रतिदिन 475 टन कचरा उठा रही हैं और इस व्यवस्था को और सुदृढ़ करने के लिए जल्द ही 60 नई गाड़ियाँ जोड़ी जाएँगी. यह व्यवस्था न केवल सफाई व्यवस्था को मजबूती देगी बल्कि स्वच्छता अभियान को भी नई ऊँचाइयाँ प्रदान करेगी.

महापौर ने कहा कि पिछले तीन वर्षों का कार्यकाल उपलब्धियों से भरा रहा है. लगभग 1500 करोड़ रुपये के समग्र विकास कार्यों ने जबलपुर को देशभर में एक अलग पहचान दिलाई है. चाहे सड़क निर्माण हो, जल प्रबंधन हो या सफाई व्यवस्था—नगर निगम ने अनेक ऐतिहासिक कार्य किए हैं जिनकी तुलना देशभर में कम ही देखने को मिलती है.

महापौर ने एक अहम तथ्य साझा करते हुए कहा कि इन तीन वर्षों में नगर निगम ने न तो कोई कर्ज लिया है और न ही किसी प्रकार की टैक्स वृद्धि की है. ऐसे समय में जब अधिकांश नगर निकाय आर्थिक बोझ से जूझते हैं, जबलपुर का यह कदम ऐतिहासिक और अनुकरणीय माना जाएगा. इससे नगर निगम की वित्तीय अनुशासन और सुशासन की नीति उजागर होती है.

पार्षद मद के कार्यों को गति देने और नागरिकों को अधिकतम सुविधा देने की दिशा में महापौर ने आगे और ठोस कदम उठाने की घोषणा की. उन्होंने पार्षद साथियों से अपील की कि वे सदन की कार्यवाही का सदुपयोग करें और अपने क्षेत्र की समस्याओं को गंभीरता से रखें, क्योंकि हर विषय पर नगर निगम द्वारा विचार और निर्णय लिया जाता है.

महापौर अन्नू का यह संबोधन न केवल बीते तीन वर्षों की उपलब्धियों का लेखा-जोखा था बल्कि यह आने वाले समय के लिए उम्मीदों और संकल्पों का भी संदेश था. वित्तीय अनुशासन, विकास की निरंतरता और जनता को राहत देने की नीति जबलपुर को एक नई दिशा दे रही है. शहरवासी इस बात से संतुष्ट हैं कि बिना किसी नए कर बोझ के भी उनका शहर प्रगति की राह पर आगे बढ़ रहा है.

यह कहना गलत नहीं होगा कि जबलपुर नगर निगम ने महापौर अन्नू के नेतृत्व में एक मिसाल कायम की है. जिस शहर ने तीन वर्षों में बिना कर्ज और बिना टैक्स वृद्धि के 1500 करोड़ रुपये से अधिक का विकास किया हो, वह निश्चित रूप से सुशासन और जनता-केन्द्रित प्रशासन का प्रतीक बन चुका है.

Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-