नई दिल्ली. देश में एक माच से कोरोना वैक्सीनेशन का दूसरा चरण शुरू हो रहा है. वैक्सीनेशन के दौरान 60 साल से ज्यादा उम्र के लोगों को वैक्सीन लगाई जाएगी. हालांकि कोरोना वैक्सीन सरकारी अस्पतालों में मुफ्त दिया जायेगा, जबकि निजी अस्पतालों में लोगों को इसके लिए भुगतान करना होगा. आधिकारिक सूत्रों ने शनिवार को बताया कि निजी अस्पताल कोविड टीके की एक खुराक के लिए 250 रुपये तक का शुल्क ले सकते हैं. इसमें 150 रुपये टीके की कीमत और 100 रुपये सेवा शुल्क है.
स्वास्थ्य मंत्रालय ने यह पहले ही साफ कर दिया है कि 45 साल से ऊपर के ऐसे लोगों को भी वैक्सीन की डोज दी जाएगी जो पहले से किसी गंभीर बीमारी से पीड़ित हैं. मंत्रालय ने शनिवार को उन बीमारियों की लिस्ट जारी की जिससे ग्रसित 45 से 59 साल के लोगों को कोरोना वैक्सीन दिए जा सकेंगे.
कोविड टीकाकरण के लिए 20 गंभीर बीमारियों को सूची में रखा गया है. 45 से 59 वर्ष की आयु के कोमॉर्बिडिटीज से जूझ रहे लोगों को शामिल करने का फैसला भी किया है. अब सवाल है कि कौन सी बीमारी के मरीज इस ग्रुप में शामिल होंगे? कार्डिवैस्क्युलर, डायबिटीज, हाइपरटेंशन, कैंसर, एड्स और दिव्यांगों को इस सूची में शामिल किया जाएगा. मरीजों को डॉक्टर से बीमारी के संबंध में एक सर्टिफिकेट तैयार कराना होगा. वहीं, उम्मीद की जा रही है कि इसके संबंध में सरकार आगे की जानकारी और नियम जल्द ही जारी करेगी.
जो लोग हार्ट फेलियर से जूझ रहे हैं और बीते एक साल में अस्पताल में भर्ती हुए हैं. लेफ्ट वेंट्रिकुलर सिस्टोलिक डिसफंक्शन, गंभीर पल्मोनरी आर्टरी हाइपरटेंशन या आइडियोपैथिक के साथ कॉन्जिनेंटल हार्ट डिसीज से पीड़ित हैं. मध्यम या गंभीर वल्व्युलर हार्ट डिसीज के मरीज इस वर्ग में शामिल हो सकते हैं. वहीं, जिन मरीजों के पास लेफ्ट वेंट्रिकुलर असिस्ट डिवाइस है या पोस्ट कार्डिययक ट्रांसप्लांट से गुजरने वाले मरीज भी इस चरण में वैक्सीन ले सकते हैं.
इसके अलावा पल्मोनरी आर्टरी हाइपरटेंशन, एनजाइना के साथ हाइपरटेंशन या डायबिटीज के मरीज. या कोरोनरी आर्टरी बायपास ग्राफ्टिंग/पर्क्युटेनियस ट्रांसल्युमिनल कोरोनरी एंजियोप्लास्टी/मायोकार्डियल इंफार्कशन के इतिहास के साथ कोरोनरी आर्टरी डिसीज से पीड़ित मरीज या जो स्ट्रोक का सामना करने वाले लोग इस सूची में शामिल हो सकते हैं. जो लोग 10 साल से डायबिटीज से पीड़ित हैं या डायबिटीज के कारण किसी परेशानी का सामना कर रहे हैं और हाइपरटेंशन की समस्या वाले मरीजों पर भी विचार किया जाएगा.
इसके साथ ही एंड स्टेज किडनी डिसऑर्डर का सामना कर रहे हैं और हेमोडायलिसिस/कंटिन्युअस एंब्युलेटरी पेरिटोनियल डायलिसिस के साथ-साथ डीकंपन्सेटेड साइरोसिस के मरीज इस टीका लगवा सकते हैं. वहीं, किडनी, लिवर या हेमाटोपोइटिक स्टेम सेल ट्रांसप्लांट के मरीज या इनमें से किसी ट्रांसप्लांट की वेट-लिस्ट में शामिल लोग टीके के लिए पात्र हैं.
इनके अलावा रेस्पिरेटरी डिसऑर्डर से पीड़ित और बीते कुछ सालों में अस्पताल में भर्ती होने वाले मरीज, एचआईवी या प्राइमरी इम्युनोडिफिशिएंसी डिसीज, सिकल बीमारी, बोन मैरो फेलियर, एप्लास्टिक एनीमिया और थैलेसीमिया मेजर के मरीज टीका लगवा सकते हैं. ओरल कोर्टिकोस्टेरॉयड या लंबे समय से इम्युनोसप्रेसेंट दवाई ले रहे लोग भी वैक्सीन लगवा सकते हैं. इनके अलावा ऐसे मरीज, जिन्हें एक जुलाई के बाद कैंसर का पता चला है या कैंसर थैरेपी लेने वाले मरीज टीकाकरण में शामिल हो सकते हैं.
साथ लाने होंगे पहचान पत्र और बीमारी के कागजात
लाभार्थियों को अपना एक तस्वीर युक्त पहचान पत्र- आधार कार्ड, मतदाता पहचान पत्र आदि लेकर आना होगा. अन्य बीमारी से ग्रसित 45 वर्ष से अधिक उम्र के लाभार्थी को बीमारी से संबंधित प्रमाणपत्र साथ में लाना होगा, जिस पर पंजीकृत चिकित्सक के हस्ताक्षर होने चाहिए.
चुन सकते हैं टीका केंद्र
टीके ऑन-साइट पंजीकरण की सुविधा होगी उपलब्ध, अपनी पसंद के टीकाकरण केंद्र पर करा सकते हैं रजिस्ट्रेशन, को-विन 2.0 पोर्टल व आरोग्य सेतु मोबाइल एप से भी रजिस्ट्रेशन, लाभार्थी अपनी पसंद के कोविड टीकाकरण केंद्र को चुन सकते हैं, टीका लगवाने के लिए अपना समय निर्धारित करवा सकते हैं.
Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-केंद्र सरकार ने कोरोना वैक्सीन के दाम किये तय, अब 250 रुपए में निजी हास्पिटल में लगवाया जा सकेगा
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