नई दिल्ली. ऑक्सीमीटर और ऑक्सीजन कंसंट्रेटर की बढ़ती मांग और इसकी कालाबाजारी को रोकने को लेकर सरकार ने एक बड़ा फैसला लिया है. इसकी कीमत पर लगाम लगाने के लिए केंद्र सरकार ने नोटिस जारी किया है. इस नोटिस के मुताबिक ऑक्सीमीटर और ऑक्सीजन कंसंट्रेटर की कीमत 1 साल में 10 फीसदी से ज्यादा नहीं बढ़ सकती है. साथ में सरकार ने कंपनियों को अपनी MRP डिटेल सरकार के साथ साझा करने को भी कहा है.
मिनिस्ट्री ऑफ केमिकल्स एंड फर्टिलाइजर, डिपार्टमेंट ऑफ फार्मास्युटिकल्स और नेशनल फार्मास्युटिकल प्राइसिंग अथॉरिटी (NPPI) की तरफ से जारी नोटिफिकेशन में कहा गया है ताजा नोटिफिकेशन 31 मार्च 2020 को जारी नोटिफिकेशन के संदर्भ में है. इसके अंतर्गत मेडिकल डिवाइस के लिए मैक्सिमम रिटेल प्राइस एक साल में 10 फीसदी से ज्यादा नहीं बढ़ाई जा सकती है.
सरकार ने सभी मैन्युफैक्चरर्स और इंपोर्टर्स से कहा है कि वे इन दो मेडिकल डिवाइस के लिए MRP जमा करें. उन्हें अगले सात दिनों के भीतर इसकी जानकारी शेयर करनी होगी. इसकी डेडलाइन 22 मई 2021 तक है.
मास्क और सैनिटाइजर की कीमत पर ऐसे ही लगा था लगाम
बता दें कि मार्च 2020 में जब कोरनोा ने पहली बार भारत में दस्तक दिया था उस समय मांग में आई तेजी के कारण मास्क और हैंड सैनिटाइजर की कीमत आसमान छूने लगी थी. उसी समय मिनिस्ट्री ऑफ कंज्यूमर अफेयर्स ने इसकी कीमत पर लगाम लगाने के लिए 21 मार्च 2020 को एक नोटिफिकेशन जारी किया था. इसके तहत सरकार ने देश में सैनिटाइजर और मास्क की खुदरा कीमतें तय कर दी थी. तय भाव से ज्यादा पर ये दोनों प्रोडक्ट नहीं बेचे जा सकते थे. सरकार के इस फैसले का तुरंत असर हुआ और दोनों की कीमत कंट्रोल में आ गई.
ये तमाम जानकारी शेयर करनी होगी
ऑक्सीमीटर और ऑक्सीजन कंसंट्रेटर की MRP की जानकारी मैन्युफैक्चरर्स और इंपोर्टर को एक स्पेशल फॉर्मेट में देना होगा. इसमें ब्रांड का नाम, टाइप ऑफ सर्टिफिकेशन, यूनिट ऑफ सेल्स, डिस्ट्रीब्यूटर, स्टॉकिस्ट, हॉस्पिटल के लिए उसकी कीमत, रिटेल प्राइस, जीएसटी कितना लगता है, मूविंग ऐनुअल टर्नओवर, 1 मई को मैक्सिमम रिटेल प्राइस जैसी जानकारी शेयर करनी होगी.
वर्तमान में क्या है कोरोना का हाल
पिछले तीन दिनों से कोरोना की रफ्तार थोड़ी सुस्त जरूर हुई है लेकिन अभी भी 3.20 लाख के करीब मामले सामने आ रहे हैं. कोविड ट्रैकर के मुताबिक देश में एक्टिव मरीजों की संख्या 36.13 लाख है. 270321 मरीजों की अब तक कोरोना के कारण मौत हो चुकी है. यह डेटा 16 मई की सुबह 8.12 तक है. कंफर्म केस के मामले में महाराष्ट्र सबसे आगे है. उसके बाद कर्नाटक, केरल, उत्तर प्रदेश और तमिलनाडु का नंबर आता है. हालांकि एक्टिव मामलों के आधार पर कर्नाटक पहले नंबर पर है. उसके बाद महाराष्ट्र और फिर केरल का नंबर आता है.
Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-नई दिल्ली में पीएम मोदी के खिलाफ अपमानजनक पोस्टर लगाने के आरोप में 9 लोग गिरफ्तार
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