नई दिल्ली. संयुक्त राष्ट्र. संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के उस प्रस्ताव को रूस ने वीटो कर दिया है, जिसमें यूक्रेन पर आक्रमण की निंदा की गई थी. हालांकि, इस प्रस्ताव पर परिषद के 15 में से 11 सदस्यों ने समर्थन जताया है. जबकि, चीन, भारत और संयुक्त अरब अमीरात ने इससे दूरी बनाई. खास बात है कि संयुक्त राष्ट्र के इस कदम को पश्चिमी देश रूस को अंतरराष्ट्रीय रूप से अलग-थलग दिखाने के लिहाज से जीत के रूप में देख रहे हैं. रूस ने गुरुवार को यूक्रेन में ‘सैन्य कार्रवाई’ की शुरुआत कर दी थी.
रॉयटर्स के अनुसार, उम्मीद की जा रही है कि मसौदा प्रस्ताव को अब 193 सदस्यीय संयुक्त राष्ट्र महासभा में ले जाया जाएगा. अमेरिका, चीन, फ्रांस और ब्रिटेन के अलावा रूस के पास भी वीटो शक्ति है. यूएन में रूस की राजदूत वैसिली नेबेंजिया ने इस मसौदे का समर्थन नहीं करने वालों का धन्यवाद दिया. साथ ही उन्होंने इस प्रस्ताव को रूस विरोधी बताया है. उन्होंने वोट के बाद कहा, ‘आपका मसौदा प्रस्ताव इस यूक्रेनी शतरंज पर क्रूर और अमानवीय कदम के अलावा कुछ नहीं है.’
रूस की तरफ से वीटो शक्ति का इस्तेमाल किए जाने के बाद यूएन में अमेरिका की राजदूत लिंडा थॉमस-ग्रीनफील्ड ने कहा, ‘सुरक्षा परिषद के लापरवाह, गैरजिम्मेदाराना स्थायी सदस्य के अपने पड़ोसी पर हमला करने के लिए अपनी शक्तियों के गलत इस्तेमाल करने और यूएन और हमारी अंतरराष्ट्रीय प्रणाली को पलटने के बावजूद हम हम यूक्रेन और उसके लोगों के पीछे एकजुट खड़े हैं.’
उन्होंने यह भी कहा, ‘मैं एक बात साफ करना चाहती हूं. रूस, आपने इस प्रस्ताव को वीटो कर दिया, लेकिन आप हमारी आवाज को वीटो नहीं कर सकते, आप सच को वीटो नहीं कर सकते, आप हमारे सिद्धांतों को वीटो नहीं कर सकते, आप यूक्रेनी लोगों को वीटो नहीं कर सकते.’
Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-यूक्रेन का दावा- युद्ध में अब तक 1000 से ज्यादा रूसी सैनिक मारे गए, संघर्ष तेज
जंग के बीच यूक्रेन में फंसे भारतीयों की होगी वतन वापसी, सरकार देगी किराया
यूक्रेन-रूस युद्ध के बीच राहुल गांधी ने केन्द्र सरकार पर साधा निशाना
जंग की मार से कराह रहे यूक्रेन की मदद के लिए आगे आया संयुक्त राष्ट्र, देगा 2 करोड़ डॉलर
यूक्रेन के कई शहरों में घुसी रूसी सेना, राष्ट्रपति जेलेंस्की ने वॉर रोकने को लेकर दिया बड़ा बयान
Leave a Reply