बिहार में शरद यादव ने अपनी पार्टी एलजेडी का लालू की पार्टी आरजेडी में विलय का लिया निर्णय, इस दिन हो जाएंगी समाहित

बिहार में शरद यादव ने अपनी पार्टी एलजेडी का लालू की पार्टी आरजेडी में विलय का लिया निर्णय, इस दिन हो जाएंगी समाहित

प्रेषित समय :16:22:21 PM / Thu, Mar 17th, 2022

पटना. कहते हैं..सियासत में हर कोई ना कभी स्थायी दोस्त होता है और ना ही स्थायी दुश्मन. समय-समय पर परिस्थितिवश राजनीतिक चेहरे जो कल तक विरोध में थे साथ दिखाई पड़ते रहे हैं. ऐसा ही बिहार की सियासत में एक बड़ा उलटफेर आने वाले 20 मार्च को दिखाई पड़ सकता है. पूर्व केंद्रीय मंत्री और जेडीयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष रहे शरद यादव अपने पार्टी लोकतांत्रिक जनता दल (एलजेडी) का विलय लालू की पार्टी आरजेडी में करने वाले हैं.

शरद यादव एक समय नीतीश के सबसे करीबी लोगों में एक थे, पर परिस्थितियों ने करवट बदला. नीतीश और शरद में मनमुटाव हुआ और शरद यादव अलग हो गए. अब शरद यादव लालू के साथ आने को तैयार हैं. लालू और शरद यादव के बीच हुई बातचीत के बाद यह बात सामने आई है, जिसमें शरद यादव अपने पार्टी एलजेडी को लालू की पार्टी आरजेड़ी में विलय करने को पूरी तैयार है.

2018 में नीतीश से अलग होकर बनाई थी पार्टी

शरद यादव और लालू प्रसाद यादव हालांकि जनता दल के समय एक ही खेमे में थे पर लालू के बिहार में सरकार बनने और बाद के दिनों में आपसी मतभेद में शरद लालू से दूर हुए और नीतीश के साथ हो लिए. शरद यादव ने लोकसभा चुनाव में मधेपुरा से लालू को मात भी दे चुके हैं पर नीतीश कुमार के साथ भी बहुत सालों तक साथ रहने के बाद मनमुटाव ऐसा हुआ कि शरद यादव ने 2018 में नीतीश कुमार से अलग होकर पार्टी बना ली.

2018 में बनाई थी अलग पार्टी

शरद यादव का नीतीश कुमार से मनमुटाव इतना बढ़ गया कि 2018 में शरद यादव के साथ अली अनवर और कई नेताओं ने जेडीयू से अलग होकर लोकतांत्रिक जनता दल नामक पार्टी बना ली. हालांकि शरद यादव ने 2019 में लोकसभा का चुनाव लालू आरजेडी से ही लड़ा पर उन्हें जदयू के दिनेश्वर यादव से बड़े अंतर से हार का सामना करना पड़ा.

लालू ने शरद से मिलकर लिखी पटकथा

शरद यादव इन दिनों राजनीतिक रूप से अलग थलग पड़ गए हैं. शरद की पार्टी रुछ्वष्ठ जहां चुनाव में कोई प्रभाव नहीं दिखा सकी तो वहीं बड़े चेहरे भी इससे दूर हो गए पर लालू ने जमानत मिलने के बाद दिल्ली में रहकर शरद यादव को आरजेडी में शामिल करने की पटकथा लिखी. लालू प्रसाद यादव जमानत के बाद जब अगस्त में शरद यादव से जाकर मिले तो अलग-थलग पड़े शरद यादव को साथ में आने की बात कही और शरद को साथ आने के लिए मना लिया. लालू प्रसाद यादव ने शरद से मिलकर कहा था कि शरद जी जैसे लोगों को संसद में रहने की जरूरत है

Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-

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