प्रशांत किशोर ने कांग्रेस को सुनाई खरी-खरी, कहा- विपक्षी दलों की तरह व्यवहार करना सीखें

प्रशांत किशोर ने कांग्रेस को सुनाई खरी-खरी, कहा- विपक्षी दलों की तरह व्यवहार करना सीखें

प्रेषित समय :09:54:10 AM / Thu, May 12th, 2022

नई दिल्ली. भारतीय राजनीति के रणनीतिकार कहे जाने वाले प्रशांत किशोर ने एक कार्यक्रम में कांग्रेस पार्टी को खरी-खरी सुनाते हुए कहा कि कांग्रेस विपक्ष में रहने और विपक्षी दलों तरह व्यवहार करना सीखे. प्रशांत किशोर ने कहा कि विपक्ष को कहानी कहने और बने रहने की कोशिश करनी चाहिए न कि चेहरों की चिंता करनी चाहिए.

उन्होंने कहा कि यदि आपके पास कहानी है और आप इसे जारी रखते हैं तो इससे चेहरे उभरने की संभावना अधिक है. कांग्रेस की कार्यशैली के सवाल पर जवाब देते हुए प्रशांत किशोर ने कहा कि कांग्रेस को विपक्ष की राजनीति करने और विपक्ष में रहने का तरीका सीखने की जरूरत है. कांग्रेस पार्टी के नेताओं को लगता है कि सरकार के कामकाज से तंग आकर लोग खुद ही उनको वोट देंगे और वो सरकार में आ जाएंगे तो ये सोच ठीक नहीं है.

प्रशांत किशोर ने ये भी कहा कि अगर कोई भी एक दल सोचता है कि वह भाजपा को हरा देगा तो यह गलत है. भाजपा से फिलहाल कोई एक भी दल मुकाबला नहीं कर पाएगा. इसलिए मैं कहता हूं कि अगर एक मजबूत गठजोड़ बनाकर भाजपा को चुनौती नहीं दी गई तो आने वाला एक लंबा वक्त भाजपा का हो सकता है.

कांग्रेस पर प्रशांत किशोर ने कहा कि पार्टी का इस मानसिकता से बाहर आना बाकी है कि वह अभी सत्ता में नहीं है. उदाहरण के लिए उन्होंने कहा कि सत्ता में एक पार्टी विपक्ष में होने की तुलना में अधिक मीडिया कवरेज प्राप्त कर सकती है. कांग्रेस आज सड़कों पर उतरती है, वे कुछ करते हैं, और उन्हें मीडिया का समान ध्यान या आकर्षण नहीं मिलता है. उनकी स्वाभाविक प्रतिक्रिया यह है कि हम कुछ भी कैसे करें क्योंकि मीडिया हमें कवर नहीं करता है. उन्होंने हमें पूरी तरह से खाली कर दिया. यह एक सत्तारूढ़ दल की मानसिकता को दर्शाता है, जो अभी तक एक विपक्षी दल होने की स्थिति में नहीं आया है.

प्रशांत किशोर ने कहा कि जिस तरह से कांग्रेस किसी स्थिति पर प्रतिक्रिया करती है, उसकी विचार प्रक्रिया में मुझे यही मूलभूत समस्या दिखाई देती है. सलाह देते हुए प्रशांत किशोर ने कहा कि शाहीन बाग को देखिए, किसानों के विरोध को देखिए. बहुत से लोगों ने कहा चेहरा कहाँ है? संगठन कहाँ है, मीडिया का समर्थन कहाँ है? कुछ लोग एक साथ आए और एक कारण के लिए बैठ गए और तब तक बैठे रहे जब तक लोगों ने ध्यान नहीं दिया और उस हठ को सरकार ने नोटिस किया और दोनों ही मामलों में, एक कदम पीछे हट गए.

प्रशांत किशोर ने कहा कि यह एक वास्तविकता है कि भाजपा आने वाले दशकों तक एक विजयी चुनावी दल बनी रहेगी. एक बार जब आप भारत के स्तर पर 30 प्रतिशत से अधिक वोट हासिल कर लेते हैं, तो कोई भी आपको दूर नहीं कर सकता. यह कोई ऐसी चीज नहीं है जो अपने आप नीचे आ जाएगी. उन्होंने कहा कि इसका मतलब यह नहीं है कि वे हर चुनाव जीतना जारी रखेंगे. इसका मतलब यह है कि, पहले 40-50 वर्षों की तरह, भारत में राजनीति कांग्रेस के इर्द-गिर्द या तो आप कांग्रेस के साथ थे या कांग्रेस के विरोध में, अगले 20-30 वर्षों में भारतीय राजनीति को मैं भाजपा के इर्द-गिर्द घूमता देखता हूं. आप भाजपा के साथ हैं या इसके विरोध में हैं.
 

Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-

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