बिलासपुर. दक्षिण-पूर्व-मध्य रेलवे बिलासपुर रेल मंडल के पेंड्रा में पदस्थ एक सीनियर सेक्शन इंजीनियर (एसएसई) इन दिनों चर्चा में है. अब एक और महिला कर्मचारी ने एसएसई के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. ये महिला भी दफ्तर के बाहर धूप में धरने पर बैठी. आरोप लगाया है कि एसएसई उसे शारीरिक और मानसिक रूप से प्रताडि़त करते हैं. हाथ-पैर दबवाते हैं और दूसरों के साथ सोने का दबाव बनाते हैं. वहीं अफसर का कहना है कि महिला कर्मचारी शराब पीकर आती है.
यह नया मामला भी रेलवे के सीनियर सेक्शन इंजीनियर मकसूद आलम से जुड़ा हुआ है. उनको पोस्टिंग हुए करीब 2 साल ही हुए हैं. अब 3 दिनों में ही दो महिला कर्मचारी उनके खिलाफ सड़क पर निकल चुकी हैं. इस बार अनुकंपा नियुक्ति पर पदस्थ महिला कर्मचारी सुंदरबाई धुर्वे ने उन पर निशाना साधा है. सुंदरबाई शनिवार को स्स्श्व कार्यालय के बाहर धूप में धरने पर बैठ गईं. करीब 5 घंटे तक उनका धरना चलता रहा.
ड्यूटी पर रहो, फिर भी अबसेंट कर देते हैं
इस दौरान सुंदरबाई धुर्वे ने आरोप लगाया कि एसएसई मकसूद आलम उनसे मालिश करवाते हैं. हाथ-पांव दबवाते हैं. उन्हें शारीरिक और मानसिक रूप से प्रताडि़त करते आ रहे हैं. यहां तक कि दूसरे लोगों के साथ सोने का दबाव तक बनाया जाता है. गाली-गलौज कर वेतन काटने और नौकरी से निकालने की धमकी देते हैं. ड्यूटी पर रहो तो भी अबसेंट लगा दिया जाता है. छुट्टी की एप्लिकेशन दो, फिर भी अनुपस्थित कर देते हैं.
अफसर बोले- आरोप झूठे, महिला शराब पीकर आती है
पहले वाले मामले में दूरी बनाकर रखने वाले स्स्श्व मकसूद आलम इस बार सामने आए. उन्होंने महिला कर्मचारी सुंदरबाई धुर्वे के सारे आरोपों को निराधार बताया. कहा कि वे महिला कर्मचारी को चैंबर में बुलाते ही नहीं हैं. पूरा कैंपस सीसीटीवी से कवर है. उन्होंने कहा कि स्टोर से सामान गायब हो रहा है, इसलिए चाबी नहीं देना चाहता. सुंदरबाई कार्यालय में ही शराब पीकर सो जाती है. काम पर नहीं आती है. अटेंडेंस लगाने का दबाव बनाती है.
डीआरएम ने कार्रवाई का आश्वासन दिया
इस पूरे मामले के बाद डीआरएम ने महिला कर्मचारी से फोन बात की और कार्रवाई आश्वासन दिया. इससे पहले भी महिला क्लर्क सरस्वती चंद्रा को मिलने के लिए बुलाया था. उन्हें उनकी ड्यूटी ज्वाइन करने के लिए आदेशित किया है. इस संबंध में डीआरएम ने पत्र लिखकर निर्देश दिए हैं कि सरस्वती चंद्रा के संबंध में उचित कार्रवाई की जाए. सरस्वती चंद्रा ने ट्रांसफर के लिए भी आवेदन किया था. इस पर भी विचार करने को कहा गया है.
तीन दिन पहले महिला क्लर्क ने भी लगाया था प्रताडऩा का आरोप
एसएसई आफिस में पदस्थ महिला क्लर्क सरस्वती चंद्रा गुरुवार को दफ्तर के सामने ही सड़क पर धरने पर बैठ गईं थीं. करीब 6 घंटे तक धरना चलता रहा. उन्होंने भी सेक्शन इंजीनियर मकसूद आलम पर 2 साल से उन्हें प्रताडि़त करने का आरोप लगाया था. कहा था कि उनको प्रभार तक नहीं दिया गया है, उल्टे रोज गालियां दी जाती हैं. इस धरने के दौरान ही उनके पति को भी सस्पेंड कर दिया गया था. हालांकि तब भी अफसर ने आरोप झूठे बताए थे.
Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-झारखंड के दुमका में रेलवे ट्रैक पर मिले 3 नाबालिगों के कटे हुए शव, जांच में जुटी पुलिस
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