जबलपुर. मध्य प्रदेश विद्युत मंडल अभियंता संघ ने मांग की है कि ऊर्जा विभाग की समस्त उत्तरवर्ती कंपनी में कार्यरत इंजीनियर्स को सातवें वेतन आयोग के मुताबिक समस्त भत्तों के भुगतान को तत्काल करने की मांग का पत्र ऊर्जा विभाग को लिखा है.
मध्यप्रदेश विद्युत मण्डल अभियंता संघ ने ऊर्जा विभाग कि समस्त उत्तरवर्ती कम्पनियोंमें कार्यरत अभियंताओ को “C-OFF”, “Night Shift Allowance (NSA)”, “House Rent Allowance (HRA)”, “Compensatory Allowance (Comp. All.)”एवं “Conveyance Allowance (CA)” का भुगतान सातवें वेतन आयोग के अनुसार किये जाने बाबत प्रमुख सचिव, ऊर्जा विभाग, म.प्र.शासन को लिखा पत्र
मध्यप्रदेश विद्युत मण्डल अभियंता संघ के इंजी. विकास कुमार शुक्ला ने पत्र लिखकर अवगत कराया कि कार्मिकों की जायज मांगों को लगातार नजर अंदाज़ किया जा रहा है .अत्यधिक खेद का विषय है की कार्मिकों के विभिन्न भत्ते गत कई वर्षों से आज दिनांक तक पुनरीक्षित नहीं किये गए हैं, जिसमे से कुछ तो गत 20-25 वर्षों से बिना बदलाव के ही चले आ रहे हैं.
संगठन ने कहा है है कि अन्य राज्यों की तुलना में मध्य प्रदेश विद्युत विभाग में ‘सातवें वेतन आयोग’के लागू होने के 5-6 वर्ष उपरान्त भी समस्त उत्तरवर्ती विद्युत् कम्पनियों में शिफ्ट ड्यूटी में कार्यरत अभियंताओ को“ C-OFF” नकदीकरण का भुगतान आज दिनांक तक विगत वेतन मानके अनुसार भी पुनरीक्षित नहीं किया गया है. रात्रि पाली भत्ते (NSA) के नाम पर रु 50/- प्रति रात्रि का दिया जा रहा है. “House Rent Allowance (HRA)” सातवें वेतन आयोग के लागू होने के पूर्व जिसे जितना मिल रहा था वहीँ स्थिर कर दिया गया है, परिणाम स्वरुप कहीं-2 अधिकारी का बेसिक अन्य समकक्ष से ज्यादा है किन्तु उसका HRA सामान अधिकारी से कम है, जो कि अपने आप में एक विसंगति को परिलक्षित करता है.
इंजी. विकास कुमार शुक्ला ने कहा है कि रात्रि पाली का अभियंताओ के स्वास्थ पर भी अत्याधिक प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है फिर भी शिफ्ट में कार्यरत अभियंता वर्ष के 24x7 घंटे और 365 दिन पूर्ण ईमानदारी के साथ ड्यूटी करते हैं. त्योहारों में भी अपने परिवार के साथ उत्सव ना मनाते हुए,बढ़ी हुई विद्युत की मांग की पूर्ती हेतु सतत विद्युत उत्पादन में लगे रहते हैं, तत्पश्चात पूरा प्रदेश अपने परिवार के साथ प्रकाश पर्व मना पाता है.मध्य प्रदेश उत्पादन कंपनी के विद्युत गृह विद्युत उत्पादन के नए-नए कीर्तिमान स्थापित कर रहे हैं किन्तु अफ़सोस कि इस एवज में उन्हें “C-OFF” का भुगतान सातवें वेतनमान के अनुसार नहीं किया जाता है एवं रात्रि पाली भत्ते का भुगतान रु 50/- प्रति रात्रि किया जाता है, जोकि अत्यंत खेदपूर्ण, गंभीर एवं विचारणीय हें .
आगे उल्लेखित किया है कि House Rent Allowance (HRA), Conveyance Allowance (CA) की दरें केंद्र सरकार के द्वारा सातवें वेतन आयोग की अनुशंसा के अनुसार संशोधित की जा चुकीं हैं एवं उसीके अनुपालनार्थ अन्य राज्यों में भी कथित भत्तों का भुगतान सातवें वेतन आयोग के अनुसार किया जा रहा है, उपरोक्त कंडिका में कथित भत्तों की संसोधित दरें आपके अवलोकनार्थ दर्शायी गयी हैं . Compensatory Allowance (Comp. All.), Conveyance Allowance (CA), C-OFF व Night Shift Allowance (NSA), आज दिनांक तक पुनरीक्षित नहीं किये गए हैं {रु 1800/- प्रति माह, रु 400/-, प्रति माह, रु 2400 /-, प्रति दिवस व रु 50, मात्र प्रति दिवस की दर से देय हैं), जबकि मध्य प्रदेश से अलग हुए राज्य छत्तीसगढ़ में कथित भत्ते (रु 5000 /- प्रति माह, रु 400/- प्रति माह, रु 4518 /- प्रति दिवस, व रु 1400 - प्रति माह की दर से) देय हैं. विद्युत क्षेत्र की सभी सेवाओं में हमारे प्रदर्शन का मूल्यांकन आज NTPC और अन्य PGCL को आधार मानकर किये जा रहे है, जबकि मध्य प्रदेश में आज कथित भत्ते अन्य राज्यों की तुलना में उनके आधे के समतुल्य भी नहीं दिए जा रहे हैं. अत: कथित भत्तों का पुनरीक्षण वर्तमान परिदृश्य में उचित एवं अनिवार्य प्रतीत होता है.
अभियंता संघ ने मांग किया है कि ऊर्जा विभाग कि समस्त उत्तरवर्ती कम्पनियों में कार्यरत कार्मिकों हेतु शीघ्र-अति-शीघ्र C-OFF, Night Shift Allowance (NSA), House Rent Allowance (HRA), Compensatory Allowance (Comp. All.) एवं Conveyance Allowance (CA)”का भुगतान सातवें वेतनमान के अनुसार पुनरीक्षित किया जाए एवं रात्रि पाली भत्ते के भुगतान के सम्बन्ध में न्यूनतम चार (4) और अधिकतम छह (6) रात्रि पाली का ही भुगतान सम्बन्धी की बाध्यता तत्काल प्रभाव से निरस्त की जाये.
Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-मध्य प्रदेश के 34 जिलों में भारी बारिश का एलर्ट, 24 घंटे में 5 इंच बारिश, फ्लाइट्स पर असर
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