यूएसए-चीन संबंधों में तनाव, पहली ही बातचीत में अमेरिकी विदेश मंत्री को चीन ने दे दी खुली धमकी

यूएसए-चीन संबंधों में तनाव, पहली ही बातचीत में अमेरिकी विदेश मंत्री को चीन ने दे दी खुली धमकी

प्रेषित समय :10:18:17 AM / Sun, Jan 26th, 2025
Reporter : पलपल रिपोर्टर

नई दिल्ली. अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के चीन के प्रति कड़े रुख और टैरिफ बढ़ाने के संकेतों के बीच, चीन और अमेरिका के बीच राजनयिक स्तर पर भी तनाव बढ़ता दिख रहा है. हाल ही में चीनी विदेश मंत्री वांग यी और अमेरिकी विदेश मंत्री मार्को रुबियो के बीच हुई फोन पर बातचीत के दौरान वांग यी द्वारा इस्तेमाल किए गए एक वाक्यांश ने दोनों देशों के संबंधों में और तल्खी ला दी है. इस वाक्यांश का मोटे तौर पर मतलब ढंग से रहो बताया जा रहा है, जिसे चीन की ओर से अमेरिका को एक तरह की चेतावनी के रूप में देखा जा रहा है.

यह वांग यी और रुबियो की डोनाल्ड ट्रंप के राष्ट्रपति बनने के बाद पहली बातचीत थी, और इस पहली ही बातचीत में तनाव की स्थिति उत्पन्न होने से भविष्य में दोनों देशों के बीच संबंधों में और खटास आने की आशंका जताई जा रही है.

चीनी विदेश मंत्रालय के बयान के अनुसार, वांग ने रुबियो से कहा, मुझे उम्मीद है कि आप उसी के अनुसार काम करेंगे. उन्होंने एक चीनी मुहावरे का इस्तेमाल किया, जिसका अर्थ है कि किसी को अपने व्यवहार को सही रखने और अपने कार्यों के लिए जिम्मेदार होने की चेतावनी देना. यह मुहावरा आमतौर पर एक शिक्षक या बॉस द्वारा किसी छात्र या कर्मचारी को चेतावनी देने के लिए इस्तेमाल किया जाता है. 

उल्लेखनीय है कि रुबियो और चीन के बीच संबंध पहले से ही तनावपूर्ण रहे हैं, क्योंकि रुबियो ने एक अमेरिकी सीनेटर के रूप में चीन की खुलकर आलोचना की है और चीन के मानवाधिकार रिकॉर्ड पर सवाल उठाए हैं. चीनी सरकार ने 2020 में दो बार उन पर प्रतिबंध भी लगाए थे.

हालांकि, चीनी विदेश मंत्रालय ने बाद में तदनुसार कार्य करें के बजाय 'सही विकल्प चुनें और वह जो कहते या करते हैं, उसके बारे में बहुत विवेकपूर्ण रहें जैसे शब्दों का इस्तेमाल किया. फिर भी, इस बयान को चीन द्वारा अमेरिका को एक चेतावनी के रूप में ही देखा जा रहा है. सेंटर फॉर चाइना एंड ग्लोबलाइजेशन के रिसर्च फेलो जिचेन वांग ने इस वाक्यांश को एक छिपी हुई चेतावनी करार दिया है.

वहीं, अमेरिकी बयान में इस वाक्यांश का कोई उल्लेख नहीं किया गया है. अमेरिकी बयान में केवल यह कहा गया है कि रुबियो ने वांग से कहा कि ट्रंप प्रशासन चीन के साथ अपने संबंधों में अमेरिकी हितों को बढ़ावा देगा. बयान में ताइवान और दक्षिण चीन सागर में चीन की गतिविधियों पर भी चिंता व्यक्त की गई.

गौरतलब है कि वांग 2020 में भी विदेश मंत्री थे, जब चीन ने रुबियो पर प्रतिबंध लगाए थे. डोनाल्ड ट्रंप अपने चीन विरोधी रुख के लिए जाने जाते हैं और उनका लक्ष्य चीन को रणनीतिक और आर्थिक रूप से चुनौती देना है. ट्रंप के शपथ ग्रहण के तुरंत बाद चीन ने नियम-आधारित बहुध्रुवीय विश्व पर जोर दिया था, जिससे दोनों देशों के बीच टकराव की स्थिति और बढ़ गई है. इस घटनाक्रम से स्पष्ट है कि अमेरिका और चीन के बीच संबंध आने वाले समय में और तनावपूर्ण हो सकते हैं.

Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-