दौसा. राजस्थान के दौसा में एक हैरान करने वाली खबर सामने आई है. शराब का ठेका लेने के लिए एक शख्स ने 999 करोड़ रुपये से अधिक की बोली लगाई. इस शराब ठेके के लिए चल रही ऑनलाइन बोली में कम्प्यूटर सिस्टम में भी राशि बढऩे की लिमिट खत्म हो गई. तब जाकर दोनों बोली लगाते हुए रुके. अब यह बोली पूरे राजस्थान में चर्चा का विषय बन गई है.
आबकारी विभाग की ओर से पहली बार प्रदेश में शराब के ठेकों की ऑनलाइन बोली लगाई जा रही है. इस ऑनलाइन बोली में बड़ा ही रोचक मामला सामने आया है. दौसा जिले के साहपुर पाखर गांव के शराब के ठेके के लिए ऑनलाइन बोली लगाई जा रही थी. इस बोली में करण सिंह गुर्जर और नवल किशोर मीणा भाग ले रहे थे. दोनों ने ही बोली लगाना शुरू किया और बोली की राशि 999 करोड़ रुपए से अधिक तक पहुंच गई.
999 करोड़ 99 लाख 95 हजार 216 रुपए की बोली लगाई
दौसा जिला के आबकारी अधिकारी अनिल कुमार जैन ने बताया कि इस दौरान प्रथम बोलीदाता करण सिंह गुर्जर ने 999 करोड़ 99 लाख 95 हजार 216 रुपए की बोली लगाई. दूसरे नंबर पर बोलीदाता नवल किशोर मीणा रहे. नवल किशोर ने भी करीब 999 करोड़ 99 लाख 90 हजार 216 रुपए की बोली लगाई. 1000 हजार करोड़ या इससे आगे कंप्यूटर ने अमाउंट लेना ही बंद कर दिया. वरना दोनों प्रतिद्वंद्वी अभी आगे भी अपनी बोली जारी रखते.
ठेका नहीं लिया तो होंगे ब्लैक लिस्टेड
आबकारी विभाग के मुताबिक, करण सिंह गुर्जर और नवल किशोर मीणा ने बोली 999 करोड़ रुपए से अधिक तक पहुंचाई है. अब ठेका लेने लिए पहले करण गुर्जर और फिर नवल मीणा को मौका दिया जाएगा. यदि बोलीदाताओं द्वारा शराब का ठेका लिया जाता है तो ठीक है. वरना दोनों ही बोलीदाताओं को 3 साल के ब्लैक लिस्टेड किया जाएगा. उसके बाद दोनों ही बोलीदाता आबकारी विभाग की दुकान व बीयर बार की बोलियों में भाग नहीं ले सकेंगे.
धरोहर राशि कर ली जायेगी जब्त
इसके साथ ही उनकी ओर से जमा कराई गई अमानत राशि दो लाख रुपए और 60 हजार आवेदन शुल्क को जब्त कर लिया जाएगा. बताया जा रहा है दोनों प्रतिद्वंद्व?ियों ने नाक की लड़ाई के लिए यह बोली लगाई और इस दौरान उन्होंने इसे 999 करोड़ से अधिक तक पहुंचा दी.
न्यूनतम रिजर्व प्राइज 1,84,65,216 रुपए थी
आपको बता दें कि इस दुकान की न्यूनतम रिजर्व प्राइज 1 करोड़ 84 लाख 65 हजार 216 रुपए थी. यह बोली के माध्यम से 999 करोड़ से अधिक पहुंच गई. यह बोली 10 अप्रैल को सुबह 11 बजे से 4 बजे तक पांचवें चरण में लगाई गई थी. बोली के दौरान एक बार में कम से कम 5 हजार व अधिकतम बोली की राशि का 5 प्रतिशत हिस्सा ही बढ़ाया जा सकता था.
हनुमानगढ़ में हो चुका है ऐसा मामला
उल्लेखनीय है इससे पहले राजस्थान के हनुमानगढ़ जिले में भी ऐसा ही मामला आ चुका है. वहां भी एक ठेके की बोली दो प्रतिद्वंद्वियों ने करोड़ों में पहुंचा दी थी. हनुमानगढ़ जिले की नोहर तहसील के खुईयां गांव में गत माह एक शराब दुकान की बोली 5 अरब 10 करोड़ 10 लाख 15 हजार 400 रुपये लगी थी. जबकि आबकारी विभाग ने इस दुकान की रिजर्व प्राइज 72 लाख रुपये रखी थी.
Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-राजस्थान के फलौदी जेल से 16 कैदी फरार, सभी दौड़ते हुऐ निकले और स्कॉर्पियो में बैठकर भाग गए
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